आज समाज डिजिटल, Russia Ukraine War Ist Anniversary : रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध को आज एक साल पूरा हो गया है। पिछले साल 24 फरवरी को रूस के राष्ट्रपति ने यूक्रेन के खिलाफ युद्ध का ऐलान करते हुए अपने सेनाओं को यूक्रेन पर हमला व कब्जा करने के लिए भेजा था।
उस समय रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने यह कहा था कि रूस एक सप्ताह से भी कम समय में यूक्रेन पर कब्जा कर लेगा। अब एक साल पूरा होने के बाद चाहे यूक्रेन में व्यापक रूप से तबाही हुई है लेकिन रूसी सेना यूक्रेन पर कब्जा कर पाने में नाकाम साबित हुई है। रिपोर्ट के मुताबिक रूसी सेना ने यूक्रेन के करीब एक लाख वर्ग मीटर क्षेत्रफल पर कब्जा कर लिया है लेकिन उसे इसके लिए 1500 सैनिक अधिकारियों की कुर्बानी देनी पड़ी है।
यूक्रेन के पक्ष में आए यूरोपीय देश
वहीं बीती रात UN जनरल असेंबली में यूक्रेन में शांति और रूसी सेना की वापसी को लेकर एक प्रस्ताव लाया गया। यह प्रस्ताव दो-तिहाई बहुमत से पास हो गया। इसमें 141 देशों ने प्रस्ताव का समर्थन किया। वहीं 7 देशों बेलारूस, नॉर्थ कोरिया, सीरिया, माली, रूस, इरीट्रिया और निकारागुआ ने प्रस्ताव के खिलाफ वोट वोटिंग की।
उधर, भारत, चीन सहित 32 देशों ने UN में इस प्रस्ताव पर वोटिंग में हिस्सा नहीं लिया। 11 पैराग्राफ के इस प्रस्ताव के पास होने के बाद यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की ने ट्वीट किया कि यह यूक्रेन के लिए वैश्विक समर्थन का सबूत है। वहीं UN में रूस के एंबेसडर दमित्री पोलांस्की ने इसे फालतू बताते हुए खारिज किया। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि प्रस्ताव शांति नहीं लाएगा, बल्कि इससे जंग भड़काने वालों को हौसला मिलेगा।
रूस द्वारा युद्ध की घोषणा करने के बाद से ही यूरोपीय संघ के सभी देशों के साथ-साथ अमेरिका सहित कई बड़े देश यूक्रेन के समर्थन में उतर आए। अमेरिका ने खुलकर यूक्र्रेन का साथ दिया। इसी के चलते रूस यूक्रेन पर कब्जा कर पाने में नाकाम रहा है।
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