राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने जाम्बिया के पहले राष्ट्रपति और आधुनिक जाम्बिया संस्थापक डॉ. केनेथ डेविड कौंडा के निधन पर शुक्रवार को शोक व्यक्त करते हुए कहा कि समर्पित गांधीवादी एवं कद्दावर अफ्रीकी नेता कौंडा का योगदान कभी व्यर्थ नहीं जायेगा। कौंडा का 97 साल की उम्र में निधन हो गया। उन्हें सोमवार को अस्पताल में भर्ती कराया गया था औरउनका न्यूमोनिया का इलाज चल रहा था। राष्ट्रपति ने कहा कि उन्हें वर्ष 2018 में डा. कौंडा से मिलने का अवसर मिला। उन्होंने कहा कद्दावर अफ्रीकी नेता और समर्पित गांधीवादी कौंडा का योगदान कभी व्यर्थ नहीं जायेगा। जाम्बिया के लोगों के प्रति मेरी गहरी संवेदना है। कौंडा उस आंदोलन के नेता थे जिसके कारण दक्षिण अफ्रीकी देश जाम्बिया में अंग्रेजों का औपनिवेशिक शासन समाप्त हुआ। वह 1964 में जाम्बिया के पहले लोकतांत्रिक रूप से निर्वाचित राष्ट्रपति बने।