कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के इस्तीफे के बाद से ही पार्टी में अनिश्चित्ता की स्थिति बनी हुई है। इस्तीफे पेशकश किए हुए लगभग एक महीना हो गया लेकिन पार्टी ने अभी तक अध्यक्ष के चुनाव के लिए कोई प्रयास नहीं किया है। सोमवार को कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ सदस्य कर्ण सिंह ने कहा कि राहुल गांधी का कदम सराहनीय है लेकिन पार्टी ने एक महीना खराब किया है। वरिष्ठ नेता डॉ. कर्ण सिंह ने कहा कि इस समय पार्टी भ्रम और भटकाव की स्तिथि में है।
उन्होंने कहा कि अपने अध्यक्ष पद से राहुल गांधी के 25 मई को इस्तीफा देने के बाद से पार्टी में भ्रम और भटकाव देखने को मिला है। उन्होंने राहुल के फैसले को साहसिक बताते हुए कहा कि उनका सम्मान करने की बजाय पार्टी महीने भर उनसे फैसला वापस लेने की अपील करती रही। उन्होंने कहा कि मेरी राय है कि पार्टी को बिना किसी देरी के पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की अध्यक्षता में कार्य समिति को बैठक करनी चाहिए। बता दें कि इससे पहले इस्तीफा देने से रोकने के तमाम प्रयासों के बावजूद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने लोकसभा चुनाव में अपनी पार्टी की करारी हार की जिम्मेदारी लेते हुए अपने पद से इस्तीफा दे दिया। उनके विरोधी इसे दिखावा और पूर्व नियोजित रणनीति बताते हैं कि पार्टी फिलहाल एक कामचलाऊ व्यवस्था बनाना चाहती है और फिर कुछ दिनों के बाद उन्हें पद पर वापस लाया जाएगा। जैसे घटनाक्रम सामने आ रहे हैं, उसमें यह कहना मुश्किल है कि कल क्या होगा। लेकिन आज पद छोड़कर राहुल गांधी ने संसदीय लोकतंत्र के लिए महत्वपूर्ण जवाबदेही का सिद्धांत को लागू किया है और लोगों का सम्मान जीता है।
उधर, राहुल ने अपने त्यागपत्र में यह संकेत दिया कि उनकी तरह दूसरों को भी जिम्मेदारी लेनी चाहिए और अपने पद छोड़ने चाहिए। उसके बाद पिछले सप्ताह अचानक 400 नेताओं ने इस्तीफे सौंपे, जिनमें मुख्य रूप से युवा और मध्य स्तर के नेता थे, ताकि पार्टी को पुनर्गठित किया जा सके।