आज समाज डिजिटल
नई दिल्ली। देश भर के किसानों के प्रतिनिधियों की भूमिका निभाते हुए सोमवार को किसान संसद के अंतिम दिन राष्टÑीय राजधानी के जंतर-मंतर पर महिला किसानों ने आंदोलन का प्रतिनिधित्व किया। देश भर से प्रमुख किसान संगठनों से महिला किसान पुलिस के पहरे में बसों पर सवार होकर जंतर-मंतर पहुंची। इस दौरान कॉरपोरेट भारत छोड़ों का नारा देते हुए महिला किसानों से जुड़े मुद्दों पर चर्चा की गई। महिला किसानों ने कहा कि केंद्र सरकार यदि किसानों के मसले हल करने की इच्छुक है तो उसे सबसे पहले तीनों कृषि कानून रद करते हुए किसानों की समस्याओं पर संवेदनशीलता के साथ विचार-विमर्श करना होगा। महिला किसानों ने कहा कि पिछले कई महीने से किसान राजधानी के बॉर्डर पर बैठे केंद्र सरकार से ये उम्मीद कर रहे हैं कि वह कृषि कानूनों को रद करेगी। इसके विपरीत केंद्र सरकार किसानों के प्रति बहुत ही खराब रवैया अपना रही है। किसानों को अपमानित कर रही है। महिला किसानों ने कहा कि आंदोलन में सैकड़ों किसानों ने अपनी जान गवाई है। इसके बावजूद हम पीछे हटने वाले नहीं हैं किसान किसी भी कुर्बानी के लिए तैयार हैं।