लखनऊ। उन्नाव रेप पीड़िता केस मामले में अब ट्रक ड्राइवर और क्लीनर का नार्को टेस्ट, ब्रेन मैपिंग टेस्ट ओर ब्रेन फिंगर प्रिन्टिंग टेस्ट किया जाएगा। सीबीआई के विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट सुब्रत पाठक ने इसी इजाजत दे दी है। बता दें कि रायबरेली में उन्नाव रेप पीड़िता की कार को ट्रक ने तेज टक्कर मारी थी जिसकी वजह से पीड़िता के परिवार की दो महिलओं की मौत मौके पर ही हो गई थी जबकि पीड़िता और उसका वकील दोनों गंभीर रूप से घायल हो गए थे। एक्सीडेंट के मामले में ट्रक ड्राइवर आशीष कुमार पाल व क्लीनर मोहन श्रीवास को कई टेस्ट प्रक्रिया से गुजरना होगा जिससे यह साफ हो सके कि एक्सीडेंट के पीछे किसका हाथ है। विशेष न्यायिक मजिस्ट्रेट सुब्रत पाठक ने इसके साथ ही अभियुक्तों को 14 अगस्त की शाम चार बजे तक सीबीआई की कस्टडी में सौंपने का भी आदेश दिया है। शुक्रवार को सीबीआई के डिप्टी एसपी राम सिंह ने अभियुक्तों का यह सभी टेस्ट कराए जाने की अनुमति मांगी। कहा कि इस मामले की विवेचना के लिए अभियुक्तों की यह सभी टेस्ट कराया जाना अति आवश्यक है। उन्होंने इसके लिए अदालत में अपने बयान के जरिए सहमति भी दे दी है। सीबीआई को पहले ड्राइवर और क्लीनर तीन दिन की रिमाण्ड पर मिले थे। इसके बाद सीबीआई की अर्जी पर दो दिन की रिमाण्ड और बढ़ा दी गई थी। अब सीबीआई ने जब ब्रेन मैपिंग की अनुमति दी तो रिमाण्ड अवधि 14 अगस्त तक कर दी गई। सीबीआई की टीम शुक्रवार को माखी गांव पहुंची। पीड़िता के विद्यालय पहुंची और सभी कागजोंकी जांच पड़ता की। बता दें कि पीड़िता के स्कूल का प्रबंधक विधायक कुलदीप सेंगर का भाई अतुल सिंह है। इसके बाद सीबीआई अवध ग्रामीण बैंक पहुंची। यहां पर उसने बैंक के लेजर व कई खातों की जांच की। सीबीआई ने उन्नाव में एसपी कार्यालय जाकर भी कई जानकारियां हासिल की। करीब दो घंटे तक पड़ताल करने के बाद सीबीआई लौट गई।