The law and order situation of Punjab is deteriorating rapidly Jakhar:पंजाब की कानून व्यवस्था की स्थिति तेजी से खराब होती जा रही है जाखड़ 

0
154
पंजाब की कानून व्यवस्था की स्थिति तेजी से खराब होती जा रही है जाखड़ 
पंजाब की कानून व्यवस्था की स्थिति तेजी से खराब होती जा रही है जाखड़ 

लुधियाना / चंडीगढ़। (आज समाज )राज्य में कानून व्यवस्था की खराब स्थिति पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए पंजाब •ााजपा अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने शनिवार को कहा कि शासन के प्रति पंजाब सरकार के उदासीन रवैये के कारण पंजाब में हिंसा और घृणा अपराधों की बाढ़ आ गई है। जाखड़ ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि पंजाब को अराजकता की ओर धकेलने के लिए मुख्यमंत्री जालंधर में उपचुनाव के लिए डेरा डाले हुए हैं, जबकि अपराधी बेखौफ घूम रहे हैं और किसी की •ाी जान ले सकते हैं। जाखड़ ने यहां डीएमसी में शिवसेना नेता संदीप थापर से मुलाकात के बाद कहा कि कानून-व्यवस्था किसी •ाी सरकार के लिए सर्वोच्च प्राथमिकता होती है।

पंजाब अनियंत्रित हिंसा की राह पर जा रहा है। पंजाब में बढ़ते अपराध के ग्राफ से हर कोई चिंतित हो सकता है, लेकिन सरकार को इसकी बिल्कुल •ाी चिंता नहीं है। जाखड़ ने कहा कि पंजाब के लोगों को अपनी जान के लिए लगातार डर के माहौल में जीने की इजाजत नहीं दी जा सकती। उन्होंने कहा कि अगर राज्य सरकार सोचती है कि वह कानून-व्यवस्था बहाल करने में असमर्थ है, तो उसे यह स्वीकार कर लेना चाहिए और केंद्र से सहायता मांगनी चाहिए।

जाखड़ ने कहा कि केंद्र सरकार जरूरत पड़ने पर स•ाी जरूरी कदम उठाएगी। शुक्रवार दिनदहाड़े थापर पर हुए क्रू र हमले में त्वरित कार्रवाई की मांग करते हुए जाखड़ ने कहा कि पिछले कुछ महीनों में पंजाब में इस प्रकार के अपराधों में जो पैटर्न उ•ार रहा है, उस पर तत्काल ध्यान देने की आवश्यकता है।

जाखड़ ने कहा, पहले अमृतसर में शिवसेना नेता सुधीर सूरी पर जानलेवा हमला हुआ, फिर नांगल में प्र•ााकर पर जानलेवा हमला हुआ और अब यह। कोई •ाी सरकार चिंतित होगी, लेकिन यह राज्य सरकार नहीं। जाखड़ ने कहा कि पंजाब में कोई •ाी सुरक्षित नहीं है, सिवाय मुख्यमंत्री के परिवार के, जो सरकारी खजाने की कीमत पर सुरक्षाकर्मियों के साथ यात्रा करते हैं। उन्होंने कहा कि राज्य में व्यापारियों के बीच व्याप्त •ाावना के कारण हर दिन गैंगस्टरों से उनकी जान को खतरा रहता है।

बढ़ते घृणा अपराधों और हिंसा के महिमामंडन की घटनाओं से निपटने की आवश्यकता पर जोर देते हुए जाखड़ ने कहा कि सामाजिक स्तर पर हम स•ाी को संकीर्ण चिंताओं से ऊपर उठना चाहिए, ताकि इस क्रोध को समझा जा सके और कानून को हाथ में लेकर बदला लेने की इच्छा हमें कहीं नहीं ले जाएगी।