कर्नाटक में कई दिनों या यूं कहें कुछ महीनों से ही बार-बार कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन सरकार गिरने की संभावना व्यक्त की जा रही थी। लगातार कुछ नया नाटक चल रहा था जिसका पटाक्षेप शुक्रवार को हो गया। आज मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने विधानसभा में विश्वासमत पर चर्चा के दौरान कहा कि 14 माह के बाद हम अंतिम चरण में पहुंच गए हैं। जेडीएस-कांग्रेस सरकार के सत्ता में आने के साथ ही उसे गिराने के लिए माहौल तैयार किया जाने लगा। कुमारस्वामी ने कहा कि मैं किसी के आगे हाथ नहीं जोड़ूंगा लेकिन वह अब भी भगवान से यही सवाल पूछते हैं कि उन्हें ऐसी परिस्थितियों में मुख्यमंत्री क्यों बनाया गया। कुमारस्वामी ने कहा कि मैंने सत्ता के दुरुपयोग का प्रयास नहीं किया।
कुमारस्वामी ने भाजपा से कहा कि चलिए चर्चा करते हैं। आप अब भी सरकार बना सकते हैं। कोई जल्दबाजी नहीं है। आप सोमवार को यह कर सकते हैं या मंगलवार को भी। मैं सत्ता का दुरुपयोग नहीं करुंगा। बता दें लगातार भाजपा प्रदेश अ ध्यक्ष गठबंधन सरकार के गिरने की बात कहते रहे साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि इसमें भाजपा या उनका कोई हाथ नहीं है। राज्यपाल ने मुख्यमंत्री को शुक्रवार डेढ़ बजे तक विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए कहा था। येदियुरप्पा ने कहा, ह्यखासकर आज कांग्रेस जद (एस) सरकार के कुशासन का अंत हो जाएगा। मुख्यमंत्री अपना विदाई भाषण देंगे, हम उसे (भाषण को) ध्यान से सुनेंगे। सदन की आज की कार्यवाही के नतीजे के आधार पर हम अपने राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से चर्चा करेंगे और भावी कार्यक्रम तय करेंगे। उन्होंने कहा कि शुक्रवार कर्नाटक में भाजपा के लिए अच्छा दिन होगा। उन्होंने कहा, मुझे विश्वास है कि ईश्वर की कृपा से सब कुछ अच्छा होगा। विपक्ष के नेता येदियुरप्पा विश्वास मत में देरी के विरोध में अपने पार्टी विधायकों के साथ पूरी रात सदन में ठहरे रहे।
मुख्यमंत्री कुमारस्वामी को राज्पायल वजुभाई द्वारा दी गई बहुमत साबित करने की एक और डेडलाइन खत्म हो गई। कुमारस्वामी सरकार के ऊपर बहुमत साबित करने का दबाव है, मगर आज डेढ़ बजे की डेडलाइन के बाद शाम 6 बजे की समय सीमा भी कांग्रेस-जेडीएस सरकार पूरा नहीं कर पाई।