Joshimath Sinking News: उत्तराखंड के जोशीमठ में धंस रही जमीन व इमारतों में आ रही दरारें बनी चिंता का विषय

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Joshimath Sinking News 
उत्तराखंड के जोशीमठ में धंस रही जमीन व इमारतों में आ रही दरारें बनी चिंता का विषय

आज समाज डिजिटल, देहरादून,(Joshimath Sinking News): उत्तराखंड में चमोली जिले के जोशीमठ में जमीन व सड़कें धंसने के अलावा इमारतों में अचानक आ रही दरारें चिंता का विषय बन गई हैं। ऐसे हालात में भारतीय सेना का चीन की सीमा से संपर्क कट सकता है। मामले की गंभीरता को देखते हुए राज्य सरकार भी हरकत में आ गई है।

मुख्यमंत्री धामी ने दिया मदद का आश्वासन

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने डेंजर जोन वाले क्षेत्रों में बने भवनों को तत्काल खाली कराने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने प्रभावितों को आश्वस्त किया कि सरकार उनके साथ खड़ी है और चरणबद्ध ढंग से डेंजर जोन वाले स्थानों से सभी को शिफ्ट किया जाएगा।

सरलीकरण व त्वरित कार्रवाई ही सबसे बड़ा मूलमंत्र हो : सीएम धामी

मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि तात्कालिक एक्शन प्लान के साथ ही दीर्घकालीन कार्यों में भी लंबी प्रक्रिया को समाप्त करते हुए डेंजर जोन के ट्रीटमेंट, सीवर व ड्रेनेज जैसे काम जल्द पूरे किए जाएं। उन्होंने कहा, इसमें सरलीकरण व त्वरित कार्रवाई ही हमारा सबसे बड़ा मूलमंत्र होना चाहिए।

एयरलिफ्ट की तैयारी व चिकित्सा सुविधाओं के भी निर्देश

मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी के अलावा आपदा प्रबंधन के सचिव व गढ़वाल मंडल के आयुक्त से विस्तृत रिपोर्ट लेकर निर्देश दिए कि चिकित्सा उपचार की सभी सुविधाओं की उपलब्धता रहे। उन्होंने कहा इस बात का भी ध्यान रखा जाए प्रभावितों की आजीविका प्रभावित न हो। लोगों की जो भी मदद हो सकती है, की जाए। तात्कालिक महत्व के कामों के लिए आपदा प्रबंधन नियमों का पालन करने की व्यवस्था बनाई जाए।

छह महीने तक 4000 रुपए प्रतिमाह भुगतान का निर्णय

बेघर हुए लोगों को धामी सरकार ने छह महीने तक 4000 रुपए प्रतिमाह भुगतान करने का निर्णय लिया है। आपदा प्रबंधन के सचिव रंजीत सिन्हा ने बताया कि जिला प्रशासन ने इसकी शुरुआत भी कर दी है। दरअसल, प्रदेश सरकार ने दो सितंबर 2020 को एक आदेश जारी कर बेघर हुए लोगों को किराए के मकान में रहने के लिए 4000 रुपए प्रति परिवार छह माह तक मुख्यमंत्री राहत कोष से देने का फैसला किाया गया था। इसी आधार पर चमोली के डीएम हिमांशु खुराना ने सचिव आपदा प्रबंधन को पत्र भेजकर सीएम राहत कोष से भुगतान कराने की स्वीकृति मांगी थी।

एनडीआरएफ और एसडीआरएफ को भी अलर्ट रहने के निर्देश

मुख्यमंत्री धामी ने प्रभावितों की मदद के लिए एसडीआरएफ तथा एनडीआरएफ को अलर्ट पर रखने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा, जरूरत पड़ने पर हेली सेवा की उपलब्धता भी सुनिश्चित हो। इसी के साथ मानसून से पहले जोशीमठ में सीवरेज ड्रेनेज आदि के कार्य पूरे कर लिए जाएं।

पर्यटन व शीतकालीन यात्रा भी प्रभावित

जिले के जोशीमठ के 561 घरों में दरारें आ गई हैं जिसे देखते हुए आपदा की आशंका के मद्देनजर केंद्र सरकार ने अगले आदेश तक एनटीपीसी तपोवन-विष्णुगढ़ जल विद्युत परियोजना व हेलंग बाइपास का काम रोक दिया है। इलाके के कई होटलों की इमारतों में भी दरारें आ गई हैं। अचानक आई इस आपदा के कारण पर्यटन व शीतकालीन यात्रा भी प्रभावित हुई है। सर्दी के मौसम में पर्यटन स्थल जोशीमठ और औली में हर रोज लगभग 2000 पर्यटक आते थे, लेकिन जमीन धंसने व होटलों और घरों की इमारतों में दरारें आने के बाद पर्यटकों की संख्या में 30 फीसद कमी आ गई है। आपका को देखते हुए पर्यटक होटलों में अग्रिम बुकिंग भी निरस्त करा रहे हैं।

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