Sixth Day Of NSS Camp At Arya Senior Secondary School : चरित्र मानव जीवन की स्थाई निधि : जिला शिक्षा अधिकारी

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Sixth Day Of NSS Camp At Arya Senior Secondary School
  • आर्य वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में एनएसएस के सात दिवसीय शिविर के छठे दिन का आयोजन

 

Aaj Samaj (आज समाज),Sixth Day Of NSS Camp At Arya Senior Secondary School, पानीपत : आर्य वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय पानीपत के प्रांगण में एनएसएस के सात दिवसीय शिविर के छठे दिन का आयोजन किया गया। जिसमें मुख्य अतिथि जिला शिक्षा अधिकारी कुलदीप दहिया रहे तथा विशिष्ट अतिथि सुमित्रा अहलावत व स्वीटी छिक्कारा रहे। विद्यालय प्रांगण में पहुंचने पर प्राचार्य मनीष घनगस व एनएसएस कार्यक्रम अधिकारी दिनेश कुमार द्वारा मुख्य अतिथि व विशिष्ट अतिथि का स्वागत किया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि कुलदीप दहिया ने स्वयंसेवकों को संबोधित करते हुए कहा कि चरित्र मानव जीवन की स्थाई निधि है। जीवन की स्थाई सफलता का आधार मनुष्य का चरित्र ही है। चरित्र मानव जीवन की स्थाई निधि है। सेवा, दया, परोपकार, उदारता, त्याग, शिष्टाचार और सद्व्यवहार आदि चरित्र के बाह्य अंग हैं, तो सद्भाव, उत्कृष्ट चिंतन, नियमित-व्यवस्थित जीवन, शांत, गंभीर मनोदशा चरित्र के परोक्ष अंग हैं। किसी व्यक्ति के विचार, इच्छाएं, आकांक्षाएं और आचरण जैसा होगा उन्हीं के अनुरूप चरित्र का निर्माण होता है।

स्वयं सेवकों को दन्त रोग संबधित बीमारियों से अवगत कराया

दूसरे सत्र में कला अध्यापिका अंजू कादियान द्वारा स्वयं सेवकों की स्लोगन व पेंटिंग प्रतियोगिता का आयोजन करवाया गया। जिसमें प्रथम पियूष, द्वितीय निशू तथा तृतीय पुनीत रहे। सांयकालीन सत्र में डॉ अजय कादियान व डॉ कुलदीप मुख्य वक्ता रहे तथा डॉ अजय कादियान ने स्वयं सेवकों को दन्त रोग संबधित बीमारियों से अवगत कराया तथा उन्होंने बताया कि हम किस प्रकार से अपने दांतों की रक्षा कर सकते है। कैविटी की परेशानी ज्यादातर मीठी चीजों अम्लीय खाद्य पदार्थों व पेय पदार्थों के सेवन करने और उसके बाद ब्रश ना करने के कारण होती है। मुंह में हानिकारक कैंडिडा फंगल इंफेक्शन की वृद्धि के कारण मुंह में छाले हो जाते हैं। यह स्थिति शिशुओं और कम प्रतिरक्षा वाले लोगों को प्रभावित करती है। ओरल थ्रश आसानी से देखा जाता है, क्योंकि इसके परिणामस्वरूप जीभ और गालों पर दूधिया सफेद घाव फैल जाते हैं। अगर इसे बहुत लंबे समय तक अनुपचारित छोड़ दिया जाता है, तो कैंडिड इन्फेक्शन टॉन्सिल और गले को लक्षित कर सकता है। डॉ कुलदीप ने स्वयं सेवकों को स्वस्थ रहने संबंधित तरीके बताए।