Sirsa News : हितेश चतुर्वेदी। सिरसा। नाबालिग बेटी (Minor daughter) से दुष्कर्म (Rape) करने वाले आरोपी पिता को फास्ट ट्रैक कोर्ट (Fast Track Court) ने बुधवार को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने दुष्कर्मी पिता की सजा (Punishment) का फैसला 25 जुलाई तक सुरक्षित रखा है।
बता दें कि दुष्कर्म की शिकार पीड़ित 14 वर्षीय नाबालिग गर्भवती (pregnant) हो गई थी और 16 नवंबर, 2019 को उसकी सिविल अस्पताल (Civil Hospital) में प्रीमैच्योर डिलीवरी (premature delivery) हुई थी। नाबालिगा ने बच्ची को जन्म दिया था। ऐसे में फास्ट ट्रैक कोर्ट के न्यायाधीश प्रवीण कुमार (Justice Praveen Kumar) इस मामले में बड़ा फैसला सुना सकते हैं।
मामले के अनुसार कालांवाली थाना क्षेत्र (Kalanwali Police Station Area) निवासी नाबालिग ने पुलिस को दिए बयान में बताया था कि वह कक्षा 9वीं में पढ़ती है। करीब 6 माह पहले उसके पिता ने उसे खाने में नशीला पदार्थ डालकर दे दिया जिससे वह अचेत हो गई। इसके बाद उसके पिता ने उसके साथ दुष्कर्म किया।
27 अक्टूबर, 2019 उसके पेट में दर्द हुआ तो मां उसे लेकर डॉक्टर के पास गई। डॉक्टर ने उसकी जांच करने के बाद मां को बताया कि आपकी बेटी गर्भवती है। मां ने बेटी से पूछा तो उसने बताया कि पिता उसके साथ दुष्कर्म किया था। यह जानकर मां सन रह गई।
इसके बाद वह उसे लेकर पुलिस थाने पहुंची। पुलिस ने नाबालिग का बयान दर्ज कर 30 अक्टूबर, 2019 को उसके पिता के खिलाफ केस दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया।
वकीलों ने केस लड़ने से कर दिया था इंकार Sirsa News
बता दें कि बेटी के साथ दुष्कर्म करने वाले आरोपी पिता का केस लड़ने से सिरसा (Sirsa) के वकीलों ने इंकार कर दिया है। हैरान करने वाली बात यह रही कि आरोपी पति की पत्नी ही उसका केस लड़ने को लेकर वकील करने के लिए न्यायालय परिसर में पहुंची।
वह जिस भी वकील के पास अपने पति का केस लेकर पहुंची, उसने केस लड़ने से साफ इंकार कर दिया। वकीलों ने महिला से कहा कि जिस आदमी ने अपनी बेटी को ही अपनी हवस का शिकार बनाकर उसे गर्भवती कर दिया, ऐसे आदमी को तुम बचाना चाहते हो वो भी एक मां होकर।
महिला ने वकीलों से उसके पति का केस लड़ने की गुहार लगाते हुए कहा कि उसका घर चलाने वाला अब कोई नहीं है। उसकी बेटी भी यही चाहती है कि किसी तरह उसका पिता जेल से बाहर आ जाए।
पिता की लाडली बेटी थी Sirsa News
आरोपी के 4 बच्चे हैं। पीड़िता ने पुलिस को बताया था कि वह सबसे छोटी है और पिता की लाडली भी। वह अपने पिता के साथ ही सोती थी। उसे नहीं पता था कि पिता उसके साथ ऐसी घिनौनी हरकत करेगा।
एक मामले में हो चुकी है फांसी Sirsa News
गौरतलब है कि फास्ट ट्रैक कोर्ट पहले भी इसी प्रकार के एक जघन्य मामले में दोषी पिता को फांसी की सजा सुना चुकी है। बाद में हाई कोर्ट (High Court) ने दोषी की फांसी की सजा को उम्रकैद में बदल दिया था। Sirsa News
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