संजीव कौशिक, Rohtak News:
देश की पहली महिला कॉम्बेट एवीएटर बनी कैप्टन अभिलाषा बड़क बुधवार काे अपने पैतृक गांव बालंद में पहुंची। गांव बालंद पर सतगामा खाप की ओर से कैप्टन अभिलाषा के लिए सम्मान समारोह किया। इसमें गांव मायना, कराैंथा, शिमली, बालंद, रिटाैली कबूलपुर और गरनावठी काे मिलाकर बने सतगामा के प्रधान व सरपंचों ने संयुक्त सम्मान समारोह किया।
अभिलाषा बड़क ने कहा कि मैं सोचती थी कि मुकाम हासिल करने के लिए भाग्य साथ देता है, लेकिन इस क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए मेहनत सर्वोत्तम है। मेहनत के बिना किसी भी मुकाम को हासिल नहीं किया जा सकता। इसलिए जरूरी है कि जीवन में भाग्य के भरोसे ना रहकर मेहनत पर फोकस करें।
लड़ाकू हेलीकॉप्टर उड़ाने वाली पहली महिला पायलट बनी बड़क
मुख्य अतिथि एडीजीपी ममता सिंह ने कहा कि बेटियां देवी का रूप है ताे शक्ति का भी रूप है। खासतौर से ग्रामीण अंचल की बेटियों को भी बराबर का माैका मिले ताे किसी भी क्षेत्र में कम नहीं है। विशिष्ठ अतिथि बीडीपीओ राजपाल चहल ने कहा कि जिस इतिहास काे अभी तक पढ़ते रहे हैं, उस इतिहास काे आज बनते हुए देखने के साक्षी बने हैं। कैप्टन अभिलाषा बड़क देश की सेवा के लिए लड़ाकू हेलीकॉप्टर उड़ाने वाली पहली महिला पायलट बनी है।
पिता ने कहा- मैंने बेटी को मेहनती बनाने पर जोर लगाया
पिता कर्नल ओमसिंह ने कहा कि दुनिया बेटों पर नाज करती है, उनपर ज्यादा मेहनत करती है। मैंने बेटी को मेहनती बनाने पर जोर लगाया और इसका नतीजा आप सभी के सामने हैं। एएसपी सांपला मेधा भूषण भी माैजूद रहीं। गांव बालंद के सरपंच बल्लू बालंद ने कहा कि ऐसी बेटियों पर नाज है देश काे।
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