संजीव कुमार, रोहतक:
दुनिया में उच्च शिक्षा के उज्ज्वल भविष्य में मूक्स तथा लर्निंग मैनजमेंट सिस्टम (एलएमएस) की अहम भूमिका है। मैसिव ओपन आनलाइन कोर्सेज (मूक्स) मुफ्त आनलाइन पाठ्यक्रम प्रदान करके जहां शिक्षा की दुनिया को बदल रहे हैं, वहीं एलएमएस पारंपरिक शिक्षण प्रणाली में क्रांतिकारी बदलाव ला रहा है। यह उद्गार महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय (मदवि) के कंप्यूटर साइंस एवं एप्लीकेशन विभाग के अध्यक्ष एवं डिजिटल लर्निंग सेंटर के निदेशक प्रो. नसीब सिंह गिल ने अग्रवाल कालेज, बल्लभगढ़ द्वारा आयोजित आनलाइन फैकल्टी डेवलपमेंट प्रोग्राम (एफडीपी) में बतौर विशिष्ट वक्ता व्यक्त किए।
अग्रवाल कालेज, बल्लभगढ़ के इंटर्नल क्वालिटी एस्युरेंस सेल द्वारा- कार्डिनल रोल आफ क्वालिटी एजुकेशन इन डेवलपिंग सेल्फ रिलाइअंट इंडिया विषय पर आयोजित इस एफडीपी प्रोग्राम मे प्रो. नसीब सिंह गिल ने-रोल आफ मूक्स एंड एलएमएसी इन ट्वेंटी फर्स्ट सेंचुरी टीचिंग एंड लर्निंग विषय पर विशेष व्याख्यान दिया। प्रो. नसीब सिंह गिल ने अपने प्रभावशाली संबोधन में कहा कि मूक्स वेब आधारित मुफ्त दूरस्थ शिक्षा कार्यक्रम है जो शिक्षा के क्षेत्र में भौगोलिक रूप से दुरूस्थ क्षेत्रों के छात्रों की भागीदारी सुनिश्चित करता है। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम के जरिए दुनिया के किसी भी कोने में लोगों को इंटरनेट के द्वारा शिक्षा प्रदान की सकती है। विशेष तौर पर स्टेम (विज्ञान, प्रौद्योगिकी, इंजीनियरिंग और चिकित्सा) क्षेत्र में उच्च शिक्षा प्रदान करने में मूक्स अहम भूमिका निभा रहा है। प्रो. गिल ने लर्निंग मैनजमेंट सिस्टम (एलएमएस) प्रणाली, मूडल समेत अन्य एलएमएस प्लेटफार्म बारे विस्तृत जानकारी देते हुए इसकी उपयोगिता पर प्रकाश डाला। एफडीपी कंवीनर डा. मनोज शुक्ला ने प्रारंभ में प्रो. गिल का स्वागत किया। आयोजन सचिव डा. गीता गुप्ता ने आभार जताया। इस अवसर पर प्राचार्य डा. कृष्ण कांत, को-कंवीनर डा. नरेश कामरा, आयोजन समिति सदस्य डा. सारिका कनीजा, डा. इनायत, विनित नागपाल समेत अन्य शिक्षक एवं प्रतिभागीगण उपस्थित रहे।