पंजाब: विजिलेंस के रेडार पर पूर्व मंत्री भारत भूषण, 2 हजार करोड़ का टेंडर घोटाला

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Former Minister Bharat Bhushan on Vigilance Radar
Former Minister Bharat Bhushan on Vigilance Radar

आज समाज डिजिटल, Punjab News:
पंजाब विजिलेंस भ्रष्टाचार के मामलों में जहां हवालात में बंद पूर्व मंत्री साधू सिंह धर्मसोत की भूमिका की जांच कर रही है, वहीं अब पूर्व खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री भारत भूषण भी विजिलेंस की रेडार पर है। बताया जा रहा है कि उनके खिलाफ 2 हजार करोड़ के टेडरों में कथित घोटाला करने के आरोप लगे हैं।

2500 मंडियों में होते हैं टेंडर

एक ठेकेदार यूनियन के आरोप के बाद राज्य विजिलेंस ने इसकी जांच एसएसपी स्तर के अधिकारी को सौंपी है। विजिलेंस यह पता लगाने में जुटी है कि भारत भूषण आशू के कार्यकाल के दौरान पंजाब की करीब 2500 मंडियों में लेबर और ट्रांसपोर्टेशन उपलब्ध करवाने के टेंडर्स पर हर वित्तीय वर्ष में कितना खर्च हुआ है। विजिलेंस यह भी पता लगाने की कोशिश करेगी कि साल दर साल इस खर्च में कितना अंतर रहा है और कहीं सामान्य से ज्यादा पैसा अपने चहेतों को फायदा पहुंचाने के लिए तो नहीं किया गया है।

कोरोनाकाल में डबल कर दिए गए रेट

ठेकेदार यूनियन ने अंदेशा जताया है कि कोरोना काल के दौरान 2019-2020 में विभाग में हुए टेंडरों में भारी घोटाला हुआ है। इस दौरान हुए टेंडरों में विभाग ने करीब 700 टेंडरों के रेट डबल कर दिए थे। इस दौरान अधिकारियों के द्वारा पैसे के लेनदेन की प्रबल संभावना जताई गई है। विजिलेंस के सूत्रों का कहना है कि पहले इस मामले की गहनता से छानबीन की जाएगी, अगर जांच सही पाई जाती है तो विजिलेंस पूर्व मंत्री भारत भूषण आशु का भी गिरफ्तार कर सकती है।

कर दिया था छोटे ठेकदारों को टेंडर से बाहर

लेबर और ट्रांसपोर्ट के छोटे ठेकेदारों की यूनियन के प्रधान गुरप्रीत सिंह ने भी एक बयान में आरोप लगाते हुए कहा है कि 3 साल तक लेबर कॉटेज, लेबर पीजी व ट्रांसपोर्ट के टेंडरों में करीब पांच हजार छोटे ठेकेदारों को बाहर का रास्ता दिखाया गया था, और बड़े ठेकेदारों को फायदा पहुंचाने के लिए ऊंचे दामों में टेंडर अलॉट किए गए थे। उन्होंने कहा कि इस बाबत कई बार शिकायत भी की गई थी लेकिन उनकी सुनवाई ही नहीं हुई।

क्या कहते हैं पूर्व मंत्री

मीडिया को दिए एक बयान में पूर्व खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री भारत भूषण आशू ने आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा कि पूर्व मंत्रियों को साजिश के तहत भ्रष्टाचार के झूठे मामलों में फंसाया जा रहा है। सरकार चाहे तो इसकी जांच करवा सकती है।

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