Punjab CM ने दिए बिजली समझौता रद करने के आदेश

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पावरकॉम ने कंपनी को समझौता रद करने का नोटिस किया जारी

आज समाज डिजिटल, चंडीगढ़:

Punjab CM उपभोक्ताओं को वाजिब दरों पर बेहतर और निर्विघ्न बिजली आपूर्ति मुहैया कराने के लिए अपनी सरकार की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने जीवीके गोइंदवाल साहिब बिजली खरीद समझौता रद करने के लिए पंजाब स्टेट पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (पीएसपीसीएल) के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। इस दौरान पावरकॉम ने कंपनी को टर्मिनेशन नोटिस भी जारी कर दिया है।

Punjab CM  यह बनाया गया नोटिस का आधार

जिक्रयोग्य है कि पावरकॉम द्वारा बिजली समझौता रद करने के लिए जीवीके को शुरुआती तौर पर डिफॉल्ट नोटिस जारी किया जा चुका है। इस नोटिस का आधार उच्च बिजली लागतें और निर्धारित मापदंडों के मुताबिक बुरी कारगुजारी, जीवीके से बिजली की खरीद के एक साल में बहुत समय के दौरान केवल 25 से 30 प्रतिशत तक ही किए जाने का आधार है, जिसके परिणाम स्वरूप बीते वर्ष के लिए 7.52 रुपए प्रति यूनिट के हिसाब से बिजली की दरें बढ़ रही हैं।

Punjab CM उपभोक्ताओं के लिए उठाया कदम

मुख्यमंत्री चन्नी ने बताया कि यह कदम राज्य के उपभोक्ताओं के हित सुरक्षित बनाने के लिए उठाया गया है, जिससे बिजली की कीमतों का बोझ घटेगा। इस संबंधी जानकारी देते हुए मुख्यमंत्री कार्यालय के प्रवक्ता ने बताया कि जीवीके द्वारा पीएसपीसीएल से बिजली खरीद समझौता (पीपीए) करने का मूल आधार पीएसपीसीएल को सस्ती बिजली प्रदान करना था। जीवीके शक्ति नीति के अंतर्गत कोल इंडिया लिमिटेड से कोयले का प्रबंध करके बिजली पैदा कर रहा था।

Punjab CM महंगी बिजली दे रहा था जीवीके

प्रवक्ता ने बताया कि जीवीके द्वारा किए गए दावों के अनुसार परिवर्तनीय लागत लगभग 4.50 रुपए प्रति यूनिट है और स्थिर लागत लगभग 2.50 रुपए प्रति यूनिट है। इस तरह दरों के अधीन जीवीके का कुल दावा लगभग 7.00 रुपए प्रति यूनिट बनता है, जो इसकी महंगी बिजली के कारण और बढ़ता है। इसके लिए जीवीके का इरादा स्पष्ट है कि यह उच्च दरें वसूलना चाहती है, जोकि पीपीए का मूल आधार नहीं है। इस कारण पीएसपीसीएल के लिए जीवीके के साथ पीपीए जारी रखना व्यापारिक तौर पर गैर-व्यावहारिक बन गया।