नीरज कौशिक, महेंद्रगढ़:
- योजनाबद्ध तरीके से कूड़ा प्रबंधन करने के निर्देश
- जिला पर्यावरण योजना के सभी बिंदुओं की 31 मार्च तक हो पालना : प्रीतम पाल
- पालना ने होने की सूरत में देना पड़ सकता है पर्यावरण क्षति हर्जाना
- धरती, जल और वायु की शुद्धता के लिए हरसंभव प्रयास करें
राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण के निर्देशानुसार जिला पर्यावरण योजना के सभी बिंदुओं की 31 मार्च तक हर हाल में पालना होनी चाहिए। ऐसा न होने की सूरत में एनजीटी संबंधित विभाग व अधिकारी को पर्यावरण क्षति हर्जाना देना पड़ सकता है। पर्यावरण आज दुनिया के सामने सबसे बड़ा मुद्दा है। ऐसे में इसे संवेदनशीलता के साथ लेकर आगे बढ़ें। यह निर्देश उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश एवं राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (एनजीटी) मॉनिटरिंग कमेटी के चेयरमैन प्रीतम पाल ने आज लघु सचिवालय में अधिकारियों की बैठक में कही।
धरती, जल और वायु की शुद्धता के लिए हरसंभव प्रयास
हरियाणा सरकार व राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण के निर्देश अनुसार पर्यावरण को लेकर विभिन्न बिंदुओं पर जिला महेंद्रगढ़ में अब तक हुई प्रगति की समीक्षा बैठक को संबोधित करते हुए श्री पाल ने कहा कि पर्यावरण को सुरक्षित रखना हर इंसान का फर्ज है। धरती, जल और वायु की शुद्धता के लिए हरसंभव प्रयास करें। जिला प्रशासन इस कार्य में आम नागरिकों तथा विभिन्न सामाजिक संगठनों को साथ लेकर कार्य करें। अभी तक हालात काबू में हैं। अगर हमने एनजीटी के निर्देशों का तुरंत पालन नहीं किया तो आने वाला संकट बहुत बड़ा होगा।
उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण ने विभिन्न पर्यावरणीय मुद्दों पर निगरानी समिति का गठन किया है। ऐसे में अधिकारी यह सुनिश्चित कर लें कि इस समय सीमा के अंदर सभी कार्य पूरे हो जाएं। सबसे पहले शहरों में कूड़ा प्रबंधन को लेकर समीक्षा के दौरान उन्होंने निर्देश दिए कि अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि सॉलिड और लिक्विड वेस्ट अलग-अलग एकत्रित करके डंपिंग पॉइंट तक पहुंचाया जाए। इस कार्य में जन सहभागिता जरूरी है। ऐसे में लोगों को जागरूक करें।
इसके अलावा उन्होंने डोर टू डोर कलेक्शन के संबंध में पूछे जाने पर अधिकारियों ने बताया कि डोर टू डोर कलेक्शन, अलग-अलग कूड़ा करने, कूड़े की ढुलाई करने आदि का सारा कार्य का टेंडर एक एजेंसी के साथ हो चुका है। जल्द ही एजेंसी को काम आलोट किया जाएगा उसके बाद एजेंसी कार्य शुरू करेगी।
कूड़े का निष्पादन करें
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि प्लास्टिक तथा खतरनाक वेस्ट को अलग रखें। इसी प्रकार बायोमेडिकल वेस्ट का वैज्ञानिक तरीके से निष्पादन किया जाए। वहीं जिन बड़े होटलों तथा मैरिज प्लेस में बड़े स्तर पर कूड़ा होता है वहां पर यह सुनिश्चित हो कि वह खुद ही अपने कूड़े का निष्पादन करें। ठोस कूड़ा नियम अनुसार फीस लेकर नगर परिषद व नगर पालिका उठाएं।
श्री सिंह ने निर्देश दिए कि नदियों और नालों को साफ-सुथरा रखने के लिए भी एक्शन प्लान बनाकर कार्य करें। इस पर अधिकारियों ने बताया कि आजादी के अमृत महोत्सव के तहत जिला महेंद्रगढ़ में 75 तालाबों का जीर्णोद्धार किया जा रहा है। इस बैठक में एयर क्वालिटी मैनेजमेंट तथा वाटर क्वालिटी मैनेजमेंट के संबंध में भी अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश जारी किए गए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे इंदौर का उदाहरण देकर योजनाबद्ध तरीके से कार्य करें।
इस बैठक में मौजूद
इस बैठक में उपायुक्त डॉ. जयकृष्ण आभीर, मॉनिटरिंग कमिटी के टेक्निकल एक्सपर्ट डॉ. बाबूराम, अतिरिक्त उपायुक्त वैशाली सिंह, नगर परिषद की चेयरपर्सन कमलेश सैनी, डीएमसी अनुराग ढालिया, एसडीएम मनोज कुमार तथा डीएसपी जितेंद्र कुमार के अलावा अन्य विभागों के अधिकारी भी मौजूद थे।
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