गर्भवती महिलाओं के बैठने के लिए नागरिक अस्पताल में नहीं कोई व्यवस्था, मजबूरन बैठना पड़ता है जमीन पर

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Pradhan Mantri Surakshit Matritva Yojana
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इशिका ठाकुर, करनाल, 24मार्च :
गर्भवती महिलाओं के लिए शुरू की गई प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान योजना में गरीब महिलाओं को लाभ देने का प्रयास सरकार द्वारा किया जाता है। इस योजना के द्वारा गरीबी के चलते अपना भरण-पोषण न करने वाली तथा मजदूरी करने वाली महिलाओं को मदद पहुंचाई जाती है। सरकार ऐसी महिलाओं को मदद करने के लिए मुफ्त इलाज की सुविधा देती है। इस योजना का लाभ लेने के लिए किसी भी सरकारी अस्पताल में रजिस्ट्रेशन करवाना होता है।

प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व योजना क्या है

Pradhan Mantri Surakshit Matritva Yojana
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प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व स्कीम को केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा चलाया जाता है. इस स्कीम की शुरुआत साल 2016 में गई थी. इस स्कीम के तहत गर्भवती महिला अपने पूरे गर्भकाल के दौरान मुफ्त में जांच करा सकती है. इसमें हर महिला अपनी डिलीवरी तक हर महीने की 9 व 23 तारीख तक अपने घर के पास के नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र में 5 हजार तक के इलाज का मुफ्त फायदा प्राप्त कर सकती हैं। इसके साथ ही महिलाओं को ज्यादा से ज्यादा अस्पताल में डिलीवरी कराने की सलाह दी जाती है. डिलीवरी के समय महिला का ब्लड प्रेशर, ब्लड टेस्ट, यूरिन टेस्ट, हीमोग्लोबिन जांच और अल्ट्रासाउंड फ्री में किया जाता है। इसके साथ ही महिला को डिलीवरी में परेशानी होने पर उच्च चिकित्सा केन्द्रों में भी रेफर किया जा सकता है।

करनाल के नागरिक हॉस्पिटल की डॉक्टर स्त्री रोग विशेषज्ञ महक डबास ने बताया कि महिलाओं को गर्भवती होने के दौरान जो समस्याएं आती है उनका यहां पर निशुल्क समाधान किया जाता है और उनके स्वास्थ्य की निशुल्क जांच की जाती है. उन्होंने बताया कि इसका मुख्य उद्देश्य यही है कि जो बच्चे जन्म उपरांत ही कुपोषण का शिकार होते हैं जिन बच्चों की उनकी वजह से गर्भ में ही मौत हो जाती है इस समस्या को करने के लिए यह योजना चलाई हुई है । ताकि समय पर ही गर्भवती महिला की जांच होकर उसका इलाज किया जा सके । यह जांच 1 महीने में 7 व 23 तारीख को दो बार की जाती है जिसमें करीब 1 दिन की ओपीडी में 300 महिलाएं अपनी जांच करवाती है

कैंप में जांच कराने आई हुई गर्भवती महिलाओं के लिए बैठने की कोई सुविधा नहीं

वहीं अगर करनाल की बात करें तो करनाल में भी अन्य जिलों की तरह स्वास्थ्य विभाग द्वारा गर्भवती महिलाओं की जांच के लिए कैंप लगाया जाता है भारत सरकार के अंतर्गत होने के बावजूद भी इस कैंप में जांच कराने के लिए आई हुई गर्भवती महिलाओं के लिए बैठने की कोई सुविधा नहीं है। कहीं ना कहीं घंटों तो खड़े होकर गर्भवती महिलाएं परेशान हो जाती है। जहां स्वास्थ्य विभाग और सरकार इस योजना को एक अच्छी योजना बता रही है तो वहीं गर्भवती महिलाओं को परेशान भी कर रही है। क्योंकि कई कई घंटों तक लाइन में लगकर महिलाएं अपना चेकअप कराती है जिसके चलते बने एक कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है। जबकि गर्भवती महिलाएं इतने घंटो तक खड़े होने में असमर्थ होती है।

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