नई दिल्ली। देश की राजधानी दिल्ली बुरी तरह से प्रदूषण की शिकार है। दिल्ली के लोग प्रदूषित हवा में सांस लेने को मजबूर है और यह हवा दिन ब दिन ज्यादा प्रदूषित होती जा रही है। प्रदूषण की वजह से दिल्ली के आसमान में धुंध के बादल छाए हैं। शुक्रवार को धुंध और गहरी हो गई। इस बार के प्रदूषण का आलम यह है कि स्थिति काफी गंभीर हो गई है। ईपीसीए ने दिल्ली-एनसीआर में जन स्वास्थ्य आपातकाल की घोषणा की जिससे स्थिति कीं गंभीरता का अंदाजा लगाया जा सकता है। दिल्ली में निर्माण कार्यों को भी बंद किया गया है और पूरी ठंड दिल्ली में पटाखे बजाने पर बैन लगा दिया गया है। बता दें कि गुरुवार को रात भर में प्रदूषण का स्तर लगभग 50 अंक बढ़ गया और समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 459 पर पहुंच गया। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के एक अधिकारी ने बताया कि इस वर्ष जनवरी के बाद से गुरुवार की रात पहली बार एक्यूआई ‘बेहद गंभीर और ‘आपात श्रेणी में पहुंच गया। ईपीसीए ने पांच नवम्बर तक निर्माण कार्यों और पूरी ठंड के दौरान पटाखे फोड़ने पर प्रतिबंध लगा दिया है। आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, रात साढ़े बारह बजे समग्र वायु गुणवत्ता सूचकांक 582 पर पहुंच गया। अधिकारी ने बताया कि यदि वायु गुणवत्ता 48 घंटे से अधिक अवधि तक ‘बेहद गंभीर श्रेणी में बनी रहती है तो ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान के तहत आपात उपाय किए जाते हैं मसलन सम-विषम योजना, ट्रकों के प्रवेश और निर्माण गतिविधियों पर प्रतिबंध और स्कूल बंद करना आदि।