Aaj Samaj (आज समाज), PM Modi G20 Summit Message, नई दिल्ली: दिल्ली में आयोजित दो दिवसीय जी20 शिखर सम्मेलन आज संपन्न हो गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जी20 की अध्यक्षता ब्राजील के राष्ट्रपति लूला डॉक्टर सिल्वा को सौंपी और ‘वन फ्यूचर’ विषय पर चर्चा के बाद समिट के समापन का ऐलान किया। अब अगले साल समिट का आयोजन ब्राजील करेगा। सिल्वा ने कहा, गरीब देशों की कर्ज की समस्या पर ध्यान देना होगा। साथ ही दुनिया को वैश्विक भुखमरी खत्म करने की कोशिश बढ़ानी होगी।
- ‘वन फ्यूचर’ विषय पर चर्चा के बाद समिट के समापन का ऐलान
योर हाईनेस, एक्सीलेंस…
पीएम मोदी ने सम्मेलन के समापन पर अपने अंदाज में कहा, योर हाईनेस, एक्सीलेंस, इसी के साथ मैं जी20 समिट के समापन की घोषणा करता हूं। उन्होंने कामना की, वन अर्थ, वन फैमिली, वन फ्यूचर का रोड मैप सुखद हो। प्रधानमंत्री ने वैश्विक शांति का संदेश भी दिया, कहा, ‘स्वस्ति अस्तु विश्वस्य’ यानी संपूर्ण विश्व में आशा और शांति का संचार हो। 140 करोड़ भारतीयों की इसी मंगल कामना के साथ आप सभी का बहुत-बहुत धन्यवाद। मोदी ने समूह के सभी नेताओं एक और अपील की है।
नवंबर के अंत में एक बार फिर सभी वर्चुअली मिलें नेता
उन्होंने कहा, जैसा आप सब जानते हैं कि भारत के पास नवंबर तक जी20 की अध्यक्षता की जिम्मेदारी है, इसलिए दिल्ली मेंं आयोजित समिट के दौरान लिए गए फैसलों की हमें समीक्षा करनी चाहिए। पीएम ने कहा, जी20 समिट में कई बातें रखी गई और कई सुझाव दिए गए। कई प्रस्ताव भी रखे गए। उन्होंने कहा, हमारी अब यह जिम्मेदारी है कि जो सुझाव आए हैं, उन्हें भी एक बार फिर देखा जाए कि उनकी प्रगति में गति कैसे लाई जा सकती है। इसलिए नवंबर के अंत में एक बार फिर सभी वर्चुअली मिलें और दिल्ली जी20 शिखर सम्मेलन के दौरान लिए गए फैसलों की समीक्षा करें। मोदी ने कहा, हमारी टीम इन सब फैसलों की डिटेल आप सभी के साथ शेयर करेगी।
यूएनएससी में बढ़े स्थायी देशों की संख्या
पीएम मोदी ने जी20 सम्मेलन में यह भी कहा कि दुनिया बदल रही है इसके साथ दुनिया के संस्थानों को भी बदलने की जरूरत है। संयुक्त राष्टÑ सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में अभी तक उतने ही सदस्य हैं जितने इसकी स्थापना के वक्त थे। उन्होंने कहा, इसमें स्थायी देशों की संख्या बढ़नी चाहिए। इससे पहले रविवार सुबह जी20 के नेता राजघाट पहुंचे और उन्होंने महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि अपर्ति की।
राजघाट में खादी के शॉल के साथ सभी नेताओं का स्वागत
पीएम मोदी ने इस दौरान खादी के शॉल के साथ सभी नेताओं का स्वागत किया। इसके बाद भारत मंडपम में घोषणा पत्र पर औपचारिक मुहर लगाई गई। बता दें कि जी20 समिट के आखिरी दिन मेजबान देश की कोशिश रहती है की एक साझा डिक्लेरेशन पर सभी सदस्य देश सहमति बना लें। अगर सहमति नहीं बन पाती है तो इसे एक नाकामी के रूप में देखा जाता है।
भारत ‘नई दिल्ली लीडर्स समिट डिक्लेरेशन’ स्वीकार कराने में कामयाब
भारत शनिवार को एक महत्वपूर्ण कूटनीतिक जीत दर्ज करते हुए, सभी सदस्य देशों की सहमति के साथ ‘नई दिल्ली लीडर्स समिट डिक्लेरेशन’ स्वीकार कराने में कामयाब हो गया। हालांकि इसके लिए पीएम मोदी को अपने पर्सनल इक्वेशन का इस्तेमाल करना पड़ा। यूक्रेन के मुद्दे पर सहमति बनाने में भारत को कड़ी मशक्कत करना पड़ी।
शुक्रवार रात तक सहमत नहीं हो सके थे सदस्य देश
शुक्रवार रात तक सदस्य देश इस पर सहमत नहीं हो सके थे। सूत्रों के अनुसार हरियाणा के नूंह में हुई जी20 शेरपा मीट में सदस्य देशों के शेरपाओं के बीच यूक्रेन युद्ध को लेकर काफी गहमागहमी हो गई थी। उसके बाद भारतीय अधिकारियों ने दिल्ली आकर यूक्रेन युद्ध पर एक नया पैराग्राफ बनाया, जिस पर सदस्य देशों की राय ली गई। आखिर नई दिल्ली डिक्लरेशन को सभी देशों ने अपनी सहमति दे दी।
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