World Environment Day : पर्यावरण संरक्षण के लिए हर व्यक्ति आगे आए: आचार्य संजीव वेदालंकार

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Panipat News/World Environment Day
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Aaj Samaj (आज समाज),World Environment Day,पानीपत: पर्यावरण की सुरक्षा के लिए सरकारों के भरोसे न रहकर जन सामान्य को आगे आना पड़ेगा। यह शब्द विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर वैदिक परिवार पानीपत द्वारा हाऊसिंग बोर्ड स्थित श्री राम पार्क में आयोजित यज्ञ एवम पौधारोपण कार्यक्रम में प्रसिद्ध वैदिक विद्वान आचार्य संजीव वेदालंकार ने कहे। उन्होंने यज्ञ के बाद उपस्थित जन समूह को संबोधित करते हुए कहा कि सरकारों से जो भी अच्छा बन पड़ता हैं वे करती हैं। परंतु उनकी सारी योजनाएं तब तक कामयाब नहीं होती जब तक जन सामान्य उनको लागू करने में सहयोग नहीं करता।

पर्यावरण के संरक्षण की भी जिम्मेदारी हमारी ही तो है

उन्होंने कहा कि लोग सरकार को कोसते रहते हैं कि यह नहीं किया, वह नहीं किया। परंतु हम सबकी क्या जिम्मेदारी है वह हम सब जानना ही नहीं चाहते। आचार्य संजीव ने कहा कि जब हम अपने आस पास पर्यावरण को दूषित करते हैं तो उसके संरक्षण की भी जिम्मेदारी हमारी ही तो है। उन्होंने कहा कि आज हम सब प्रण लें कि हम अपनी गली, मोहल्ले, पार्क को खुद साफ सुथरा रखेंगे न कि इन छोटे छोटे कामों के लिए सरकार के भरोसे रहेंगे।
  • पक्षी बचाने के लिए फलदार पौधे ज्यादा लगाएं: भाटिया
  • वैदिक परिवार द्वारा पर्यावरण संरक्षण पर पेंटिग प्रतियोगिता का आयोजन

अग्नि देवताओं का मुख है

आचार्य वेदालंकार ने यज्ञ का महत्व बताते हुए कहा कि अग्नि देवताओं का मुख है। इसलिए देवताओं को कुछ खिलाना चाहते हो या यदि प्रसन्न करना चाहते हो तो यज्ञ जरूर करें। उन्होंने कहा कि यज्ञ में डाली हुई आहुति को अग्नि हमें दस हजार गुना करके वापिस लौटाता है। इसका मतलब यह हुआ कि हम जो भी चीज अग्नि में डालेंगे तो वह दस हजार गुना हमे वापिस मिलती है। यदि हम प्लास्टिक को अग्नि में डालेंगे तो वह भी दस हजार गुना हमें हानि पहुंचाने का काम करेगा। इसलिए प्लास्टिक के प्रयोग व जलाने से बचें।

पर्यावरण संरक्षण के लिए फलदार पौधे लगाए: भाटिया

भाजपा जिला महामंत्री एवम वार्ड 10 पार्षद रविंद्र भाटिया ने अपने संबोधन में कहा कि पर्यावरण संरक्षण के लिए जितना जरूरी पेड़ लगाना है, उतना जरूरी ही पक्षी बचाना भी है। उन्होंने कहा कि प्राचीन समय में फलों के बड़े बड़े बाग होते थे जिनपर पक्षियों को फल के रूप में भोजन मिल जाता था। वर्तमान में फलों के पौधों की जगह छायादार या सुंदरता वाले पौधों ने ले ली। जिस कारण पक्षियों की संख्या घटती जा रही है। उन्होंने वैदिक परिवार व अन्य पर्यावरण प्रेमी संस्थाओं का आह्वाहन किया कि ज्यादा से ज्यादा फलदार पौधे लगाएं। इससे पहले विश्व के श्रेष्ठतम कर्म यज्ञ को किया गया।
वैदिक परिवार द्वारा पर्यावरण संरक्षण पर पेंटिग प्रतियोगिता का आयोजन
वैदिक परिवार द्वारा पर्यावरण संरक्षण पर एक पेंटिग प्रतियोगिता का भी आयोजन किया गया। जिसमे लगभग 25 बच्चों ने भाग लिया। सर्वश्रेष्ठ पेंटिग वाले पांच बच्चों- आराध्या शिंगला, हविषा, भूमि सैनी,वंशिका, आर्व को वैदिक परिवार द्वारा पारितोषिक देकर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर मुख्य यज्ञमान दीवान चंद आहूजा, श्रीभगवान शिंगल, शकुंतला आर्या, वैदिक परिवार के अध्यक्ष डॉ पवन बंसल, सचिव डा. राजबीर आर्य, अशोक अरोड़ा, राजीव सचदेवा, सीमा सचदेवा, आशीष दूहन, भारती सिंगला, वेद मंदिर के प्रधान सुरेश आहूजा, बलजीता यादव, विनोद मंगला, भाजपा नेता प्रमोद शर्मा, जगदीश चोपड़ा, राम गोयल, सुरेंद्र ठकराल, विजय गुलाटी, सतीश सैनी, नवीन सैनी आदि उपस्थित रहे।