पानीपत। उपायुक्त सुशील सारवान ने बताया कि लंपी स्किन डिजीज का जिले में कोई भी केस नहीं है फिर भी पशुपालकों को इस वायरस को लेकर सावधानी बरतने की नितांत आवश्यकता है। जिले में डॉक्टरों की टीमों को अलर्ट कर दिया गया है। डॉक्टरों से रोज़ाना रिपोर्ट ली जा रही है। गांव-गांव जाकर पशुपालकों से मिलकर स्थिति पर नजऱ रखने के लिए डॉक्टरों को कहा गया है। विभाग से 23 हजार 100 के करीब गोट पोक्स वैकसीन डोज आ चुके हैं जिनके लगाने का कार्य आगामी शुक्रवार को प्रारंभ हो जाएगा।
शुरूआती दौर में ये वैकसीन गौशालाओं में पशुओं को दी जाएगी
शुरूआती दौर में ये वैकसीन गौशालाओं में पशुओं को दी जाएगी। उपायुक्त सुशील सारवान ने बताया की इस बीमारी के प्रमुख लक्षण ये है कि इस बीमारी में पशुओं के शरीर पर चकते बन जाते है। पशु को तेज बुखार आने लगता है। पशु खाना-पीना कम करदेते हैं। बीमार जानवर कमजोर होने लगते हैं। हर उम्र और हर वर्ग के पशु को इस बीमारी का शिकार होने की संभावना है। उपायुक्त सुशील सारवान ने बताया की इस वायरस को लेकर विभाग को सभी जरूरी कदम उठाने के निर्देश जारी किए गए हैं।
पशुओं की लार के संपर्क में आने से दूसरे पशु में ये वायरस फैल सकता है
ये वायरस मच्छर और मक्खी के काटने से एक पशु के शरीर से दूसरे पशु के शरीर में फैल सकता है। इसके अलावा पशुओं की लार के संपर्क में आने से दूसरे पशु में ये वायरस फैल सकता है। उन्होंने बताया कि संक्रमित होने की स्थिति में एक पशु को दूसरे पशु से अलग कर देना चाहिए। जैसे ही पशु को बुखार हो या उसके शरीर पर चकते हों तो सीधा उसे डॉक्टर को दिखाएं। अभी तक इस बीमारी को लेकर हालांकि किसी प्रकार की चिंता करने की जरूरत नहीं है लेकिन हमें फिर भी सावधान रहना चाहिए व अपने पशुओं का इस स्थिति में पूरा ख्याल रखना चाहिए।
पशुओं के लिए मच्छर दानी का प्रयोग करें
पशुपालन विभाग के एसडीओ अश्विनी मोर ने बताया कि पूरे जिले में कुल 74 हजार 814 गायें है। बुधवार को 28 पंजीकृत गौशालाओं व अन्य गैर पंजीकृत गौशालाओं कि बैठक बुलाकर उन्हें सावधानी बरतने की हिदायत दी है कि वे अगर संभव हो सके तो पशुओं के लिए मच्छर दानी का प्रयोग करें। अपने पशुओं को पशु मेले से दूर रखे। कुछ समय के लिए पंजाब व राजस्थान से आने वाले पशुओं पर रोक लगाए व वहां के पशुओं की इस स्थिति में खरीदारी ना करें।