आज समाज डिजिटल, पानीपत :
पानीपत : प्रेम इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल ऑफ़ साइंसेज बड़ौली पानीपत स्थित प्रेम फिजियोथैरेपी एंड रिहैबिलिटेशन कॉलेज के द्वारा दो दिवसीय फिजियोथेरेपी कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला का शुभारंभ मुख्य वक्ता डॉ मनीष अरोड़ा, प्रेम इंस्टिट्यूट ऑफ़ मेडिकल साइंसेज के डायरेक्टर एवं सीईओ रिटायर्ड ब्रिगेडियर जे.आ.र सेठी प्रिंसिपल फिजियोथैरेपी कॉलेज डॉक्टर रविन्द्रा शर्मा, डायरेक्टर प्रिंसिपल वेद नर्सिंग कॉलेज डॉक्टर शारदा रस्तोगी, वाइस प्रिंसिपल नर्सिंग कॉलेज निधि शर्मा एवं एनएन पांडे, द्वारा दीप प्रज्वलित कर किया गया।
मूलिगन टेक्निक जो फिजियोथैरेपिस्ट व उनके प्रोफेशन के लिए काफी फायदेमंद
दो दिवसीय कार्यशाला में हरियाणा एवं दिल्ली के लगभग 85 छात्र एवं छात्राएं जोकि बैचलर इन फिजियोथैरेपी एवं मास्टर इन फिजियोथैरेपी के से संबंधित हैं ने भाग लिया, इस दो दिवसीय कार्यशाला का विषय था मूलिगन टेक्निक जो फिजियोथैरेपिस्ट के लिए व उनके प्रोफेशन के लिए काफी फायदेमंद होता है। जिसके आधार पर फिजियोथैरेपिस्ट काफी सारी बीमारियों में इस टेक्निक का इस्तेमाल कर मैनुअल थेरेपी के माध्यम के रूप में करते हैं, कार्यशाला डॉ मनीष अरोड़ा डीन फिजियोथेरेपी विभाग एस.बी.एस यूनिवर्सिटी देहरादून उत्तराखंड के मार्गदर्शन में इस टेक्निक जिसका नाम मूलिगन टेक्निक है करवाया गया।
इस टेक्निक के माध्यम से मरीज जल्दी ठीक हो जाता है
डॉक्टर मनीष अरोड़ा ने बताया कि गलत पोजीशन में बैठने, सोने, गाड़ी चलाने, कंप्यूटर मोबाइल आदि के इस्तेमाल की वजह से जिसे हम यह कह सकते हैं कि सही पोजीशन में नहीं रहने की वजह से होने वाली तकलीफों में यह टेक्निक काफी फायदेमंद होती है वह जब इस टेक्निक के माध्यम से मरीज जल्दी ठीक हो जाता है। अच्छा प्रदर्शन करने वाले छात्र एवं छात्राओं को डाक्टर मनीष अरोड़ा द्वारा प्रमाण पत्र दिए गये। कार्यशाला में मुख्य रूप से डॉ विमल त्यागी, डॉक्टर नेहा, डॉक्टर ममता, डॉ गायत्री आदि मुख्य रूप से उपस्थित रहे।
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