आज समाज डिजिटल, पानीपत :
पानीपत। राजकीय महिला महाविद्यालय मतलौडा के प्लेसमेंट सेल के तत्वावधान में विस्तार व्याख्यान करवाया गया। जिसका विषय ‘रक्षा क्षेत्र में महिलाओं के लिए अवसर और चुनौतियां’ रहा। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता प्राचार्य डॉ संदीप कंधवाल ने की और और इसके संयोजक प्लेसमेंट सेल के इंचार्ज डॉक्टर मुनीराम रहे। जिन्होंने बताया कि रक्षा के क्षेत्र में महिलाओं की क्या भूमिका हो सकती है, जैसे एयर फोर्स नेवी बीएसएफ आर्मी में कैसे प्रवेश पा सकते हैं और अपना भविष्य उज्जवल बना सकते हैं। प्लेसमेंट सेल के इंचार्ज डॉक्टर मुनीराम ने भारतीय सेना की पहली महिला अफसर प्रिया झिन्गन के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि प्रिया झींगन के माध्यम से देश में कैसे सेना के क्षेत्र में लाखों महिलाओं के लिए दरवाजे खोल दिए गए।
भारतीय सेना में महिलाओं के लिए लगातार नए रास्ते भी खुल रहे हैं
विस्तार व्याख्यान का विषय रक्षा के क्षेत्र में महिलाओं के अवसर और चुनौतियां रहा और मार्गदर्शन के रूप में रक्षा मंत्रालय भारत सरकार से वैज्ञानिक डॉक्टर सुरेश कुमार को आमंत्रित किया गया। जिन्होंने महाविद्यालय की छात्राओं को रक्षा क्षेत्र में उनकी भूमिका अवसर योगदान और चुनौतियों के बारे में विस्तारपूर्वक समझाया और छात्राओं से संवाद किया। डॉ सुरेश कुमार ने बताया कि निर्मला सीतारमण देश की ऐसी पहली महिला रही हैं जिन्हें पूर्णकालिक रूप से रक्षा मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपी गई थी और आज वर्तमान में वही महिला देश की वित्त मंत्री हैं। आज वर्तमान में भारतीय सेना में महिलाओं के लिए लगातार नए रास्ते भी खुल रहे हैं जैसे एसएससी महिला अधिकारियों को स्थाई कमीशन देना, एनडीए में महिला कैडिट को शामिल करना, जेसीओ/ओआर के रूप में महिला अधिकारियों की भर्ती करना मुख्य रूप से शामिल है।
GD की पोस्ट के लिए हाइट कम से कम 152 सेंटीमीटर होनी चाहिए
वर्तमान में 9118 महिलाएं थल सेना नौसेना और वायु सेना में कार्यरत हैं। वर्ष 2019 के आंकड़ों के अनुसार विश्व की दूसरी सबसे बड़ी थल सेना में महिलाओं की भूमिका केवल 3.8 परसेंट है जबकि वायु सेना में 13 परसेंट है और नौसेना में 6 परसेंट भूमिका है। लड़कियां महिलाएं प्लस टू और ग्रेजुएशन के बाद भारतीय सेना में एक अधिकारी के रूप में शामिल हो सकती हैं। आर्मी नेवी और एयरफोर्स में लड़कियां एजुकेशन, लॉ मेडिकल, पायलट, इंजीनियर, डॉक्टर, ऑब्जर्वर आदि ब्रांच में शॉर्ट सर्विस कमिशन और स्थाई रूप से अपना योगदान दे रही हैं। आर्मी में भर्ती होने के लिए लड़कियों की हाइट कम से कम 152 सेंटीमीटर होनी चाहिए जो कि GD की पोस्ट के लिए अनिवार्य है।
अग्निवीर बनने के लिए लड़कियों के लिए 162 सेंटीमीटर हाइट होना अनिवार्य
वहीं अग्निवीर बनने के लिए लड़कियों के लिए 162 सेंटीमीटर हाइट होना अनिवार्य है। लड़कियां यदि 12वीं के बाद ही इंडियन आर्मी जॉइन करना चाहती हैं तो उनके पास एक ही ऑप्शन है उन्हें मिल्ट्री नर्सिंग के तहत नर्सिंग कोर्स करना होगा और उसी में नौकरी करनी होगी अर्थात 12वीं के बाद आप एमएनएस एंट्री को चुनकर इंडियन आर्मी को ज्वाइन कर सकती हैं। एमएनएस का फुल फॉर्म मिलिट्री नर्सिंग सर्विस है। इस प्रकार डॉ सुरेश कुमार ने महाविद्यालय की छात्राओं को बहुत ही अच्छी पुख्ता और महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की। इस कार्यक्रम का समापन महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ रामनिवास ने किया इस मौके पर महाविद्यालय का सभी टीचिंग स्टाफ मौजूद रहा।