- आर्य समाज ने दिया समरस समाज का संदेश : सुशील सारवान
आज समाज डिजिटल, पानीपत :
पानीपत। आर्य समाज ने समरस समाज का संदेश दिया जब देश में जाती पाती चर्म पर थी। अस्पृश्यता की जड़े समाज में गहराई तक फैली तब आर्य समाज ने मनुर्भव का संदेश दे मानवता का सबसे बड़ा पाठ पढ़ाया। ये शब्द जिला उपायुक्त सुशील सारवान ने आर्य केंद्रीय सभा के तत्वावधान में मनाए जा रहे आर्य समाज स्थापना दिवस व नवसंवत्सर के अवसर पर आर्य समाज मॉडल टाउन में मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुए कहे। आर्य केंद्रीय सभा की प्रधान बेला भाटिया ने इस अवसर पर कहा कि हम नव संवत्सर को मना कर अपनी संस्कृति पर गौरव करे। बेला ने बताया कि नव संवत्सर ये याद दिलाता है की वैदिक गणना कितनी सटीक और सही। जो करोड़ों वर्षी से चली आ रही है और कितनी वैज्ञानिक है।
आर्य समाज रूपी दीपक ने नई राह दिखाई
बेला भाटिया ने आगे कहा कि जब संसार अज्ञानता के अंधकार में डूबा हुआ था। तब आज ही के दिन महर्षि दयानंद सरस्वती के द्वारा आर्य समाज रूपी दीपक ने नई राह दिखाई। उन्होने सभी को आर्य समाज स्थापना दिवस तथा नव संवत्सर की बधाई व शुभ कामनाएं दी। कार्यकर्म की अध्यक्षता करते हुई आर्य समाज के प्रधान शशि चड्डा ने कहा कि आर्य केंद्रीय सभा ने नव संवत्सर तथा आर्य समाज स्थापना दिवस मना कर ऋषि मिशन को आगे बढ़ाने का बड़ा काम किया है। यज्ञ ब्रह्मा आचार्य नंद किशोर शास्त्री ने वैदिक मंत्रों से आहुति दिलाकर यज्ञ करवाया। रवींद्र अहलावत व सुमित्रा अहलावत, संजीव मखीजा व कविता मखीजा, अनुराग बतरा व सुधा बतरा एवं जगदीश व दर्शना मुख्य यजमान रहे।
महर्षि का उपदेश आज भी प्रासंगिक
कार्यक्रम का शुभारंभ शशि मधोक (उपाध्यक्ष महिला मोर्चा भाजपा) ने ध्वजारोहण कर के किया। सहारनपुर से आई संगीता आर्या ने ऋषि महिमा के मधुर भजन गाए आचार्य सानंद ने समरोह में बोलते हुए कहा कि महर्षि दयानंद ने वेदों के प्रचार प्रसार में जीवन खपा दिया। महर्षि का उपदेश आज भी प्रासंगिक है। विशिष्ठ अतिथि के रूप में सुशीला घनघस (मुख्याध्यापक राजकीय उच्च विधालय कैनाल कैम्प ) रही। मंच संचालन रमेश बजाज ने किया। शारदा बरेजा शकुन्तला सिंगला, सुनीता, चन्द्र मोहन गुलाटी, ईश्वर आर्य, राकेश भाटिया, बीरमती, ज्योति कटारिया, सुमेधा गुलाटी, सुनीता चुग, गुलशन नंदा, कांता नागपाल, राजेश चुग्घ आदि उपस्थित रहे।