Opposition Unity Meeting: आप का अल्टीमेटम, कांग्रेस साथ नहीं देगी तो आप बैठक में नहीं होगी शामिल

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Opposition Unity Meeting
दिल्ली सीएम व आप के संयोजक अरविंद केजरीवाल।

Aaj Samaj (आज समाज), Opposition Unity Meeting, नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी (आप) ने केंद्र सरकार के अध्यादेश के खिलाफ एकजुटता के मामले में कहा है कि अगर कांग्रेस उसका साथ नहीं देती है तो वह विपक्ष की शुक्रवार को होने वाली बैठक में शामिल नहीं होगी। गौरतलब है कि बिहार की राजधानी पटना स्थित सीएम नीतीश कुमार के आवास में शुक्रवार को बीजेपी के खिलाफ विपक्षी एकता की बैठक होनी है और इससे पहले आप के उक्त अल्टीमेटम ने दिल्ली सीएम व आप के संयोजक अरविंद केजरीवाल के आने पर संशय खड़ा कर दिया है।

  • पटना में नीतीश के आवास पर मीटिंग कल
  • आप संयोजक केजरीवाल के आने पर संशय

केजरीवाल ने सभी पार्टियों को लिखी है चिट्ठी

केजरीवाल ने बुधवार को भी  नीतीश कुमार समेत सभी पार्टियों को चिट्ठी लिखकर कहा था कि बैठक में सबसे पहले केंद्र के अध्यादेश पर चर्चा होनी चाहिए। सूत्रों के हवाले से गुरुवार बताया गया कि आप ने केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ कांग्रेस को साथ आने को कहा है। पार्टी की ओर से कहा गया है कि यदि कांग्रेस उसका साथ नहीं देती है तो आप विपक्ष की बैठक में शामिल नहीं होगी।

दिल्ली का अध्यादेश एक प्रयोग

आप का मानना है कि दिल्ली का अध्यादेश एक प्रयोग है और यह सफल हुआ तो केंद्र सरकार गैर भाजपा राज्यों के लिए ऐसे ही अध्यादेश लाकर राज्य सरकारों का अधिकार छीन लेगी। बता दें कि विपक्षी एकता की बैठक में शामिल होने के लिए गैर भाजपा दलों के नेता गुरुवार से ही जुटना शुरू हो गए थे। बैठक में नीतीश कुमार के साथ एमके स्टालिन, ममता बनर्जी, अरविंद केजरीवाल समेत 6 राज्यों के मुख्यमंत्री और 5 पूर्व मुख्यमंत्री शामिल होंगे।

आप के ताजा अल्टीमेटम से केजरीवाल के बैठक से दूर रहने की संभावनाएं तेज हो गई हैं। बैठक में न्यूनतम साझा कार्यक्रम तय हो सकता है। बातचीत का मुख्य एजेंडा यह हो सकता है कि भाजपा और उसके सहयोगियों के खिलाफ संयुक्त विपक्ष का एक ही उम्मीदवार खड़ा किया जाए। भाजपा हराओ का प्रस्ताव पारित हो सकता है।

नीतीश का पहले ही साथ छोड़ चुके हैं मांझी

विपक्षी मीटिंग से 10 दिन पहले हम पार्टी के संरक्षक जीतनराम मांझी महागठबंधन से अलग हो चुके हैं। 13 जून को उनके बेटे डॉ. संतोष सुमन ने नीतीश कैबिनेट से इस्तीफा दे दिया था। 21 जून को दिल्ली में जीतन राम मांझी ने देश के गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात की। फिर एनडीए में शामिल होने की घोषणा कर दी।

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