Patiala News (आज समाज), पटियाला : मांगों को लेकर किसानों का आंदोलन लगातार जारी है। पंजाब के किसान दिल्ली जाने की जिद के चलते पंजाब और हरियाणा के शंभू और खनौरी बॉर्डर पर डटे हुए हैं। गत दिवस शनिवार को किसानों को बॉर्डर पर बैठे दो सौ दिन पूरे हो चुके हैं। हालांकि इस दौरान केंद्र सरकार के प्रतिनिधियों से किसानों की कई दौर की बातचीत हो चुकी है लेकिन कोई समाधान नहीं निकल पाया। दूसरी तरफ शनिवार को शंभू बॉर्डर पर किसान महापंचायत का आयोजन किया गया।
इसमें किसान मजदूर मोर्चा और संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) के निमंत्रण पर देश के विभिन्न राज्यों से बड़ी संख्या में किसान पहुंचे। किसान नेता सरवन सिंह पंधेर और जगजीत सिंह डल्लेवाल ने एलान किया कि दिल्ली आंदोलन-1 के दौरान लखीमपुर खीरी में किसानों को जान गंवानी पड़ी, जिसके विरोध में वे पूर्व गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी के खिलाफ 3 अक्टूबर को 2 घंटे का देशव्यापी रेल रोको आंदोलन करेंगे।
इसके अलावा 15 सितंबर जींद व 22 सितंबर को पीपली में महापंचायत की जाएगी। इस दौरान पंधेर ने कहा कि हरियाणा चुनाव के चलते भाजपा डरी हुई है, क्योंकि किसान आंदोलन उसके लिए सिरदर्दी बन गया है। हरियाणा विधानसभा चुनाव से पहले दोनों मोर्चे एक संयुक्त सम्मेलन आयोजित करेंगे। इसमें चुनाव को लेकर मोर्चे की रणनीति तैयार करके उसकी घोषणा की जाएगी।
बॉर्डर खुलते ही करेंगे दिल्ली कूच
पंधेर ने कहा कि जैसे ही बॉर्डर खुलता है, वे ट्रैक्टर-ट्रॉलियों के साथ दिल्ली कूच करेंगे। उन्होंने कहा कि चुनाव आते ही मोदी सरकार ने केंद्रीय एजेंसियों का दुरुपयोग शुरू कर दिया है। इस मौके पर किसान नेता सतनाम सिंह पन्नू, जसविंदर सिंह लोंगोवाल, काका सिंह कोटड़ा, मनप्रीत सिंह, जलार सिंह, बलवंत सिंह बेहरामके, बचित्र सिंह कोटला, गुरअमनीत सिंह मांगट, अमरजीत सिंह राडा आदि नेता मौजूद थे।