Death Clock Ai : अब AI बताएगा कब होगी मौत, जानें पूरी जानकारी

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Death Clock Ai : अब AI बताएगा कब होगी मौत, जानें पूरी जानकारी

Death Clock ऐप एक अनोखा और अत्याधुनिक AI-आधारित टूल है, जो इंसान की जीवनशैली के डेटा का विश्लेषण करके संभावित जीवनकाल और मृत्यु की भविष्यवाणी करता है।

इसके साथ ही, यह उपयोगकर्ताओं को उनकी लाइफस्टाइल को सुधारने और फाइनेंसियल प्लानिंग में मदद करने के लिए वैयक्तिक सुझाव भी देता है। चलिए आइए जानते हैं पूरी जानकारी

Death Clock ऐप: कैसे करता है काम?

यह ऐप उपयोगकर्ता की डाइट, एक्सरसाइज, स्लीप पैटर्न, स्ट्रेस लेवल, और अन्य हेल्थ पैरामीटर्स का एनालिसिस करता है। 53 मिलियन लोगों के डेटाबेस और 1200 से ज्यादा पैरामीटर्स का उपयोग करके इसका एल्गोरिद्म भविष्यवाणियां करता है।

एल्गोरिद्म और मशीन लर्निंग:

ऐप में एडवांस AI एल्गोरिद्म का इस्तेमाल किया गया है, जो पिछले डेटा और विश्लेषणों के आधार पर भविष्य का अनुमान लगाता है। इसके पीछे की टेक्नोलॉजी जीवनशैली के छोटे-से-छोटे पहलुओं को भी कैप्चर करती है।

Death Clock ऐप की उपयोगिता

उपयोगकर्ता को उनकी आदतों के आधार पर हेल्थी डाइट, फिजिकल एक्टिविटी और स्ट्रेस मैनेजमेंट के लिए सुझाव देता है। लोग इस ऐप का उपयोग अपनी जीवनशैली को बेहतर बनाने के लिए कर रहे हैं।

फाइनेंस प्लानिंग में मददगार:

संभावित जीवनकाल के आधार पर लाइफ इंश्योरेंस पॉलिसी, पेंशन प्लान, और बचत योजनाओं की प्लानिंग के लिए उपयोगी।यह ऐप स्वस्थ जीवन के वर्षों का अनुमान लगाकर सही निवेश और बचत का मार्गदर्शन देता है।

स्वास्थ्य और दीर्घायु की जानकारी:

यह ऐप यह भी बता सकता है कि कोई व्यक्ति कितने समय तक स्वस्थ रह सकता है और उम्र बढ़ाने के लिए किन आदतों को अपनाना चाहिए।

लोकप्रियता और चर्चा

लॉन्च: जुलाई 2024 में लॉन्च हुआ यह ऐप दुनियाभर में 1.25 लाख बार डाउनलोड किया जा चुका है।
उपयोगकर्ता: लोग इसे केवल अपने संभावित जीवनकाल जानने के लिए ही नहीं, बल्कि अपनी आदतों को सुधारने और बेहतर भविष्य की योजना बनाने के लिए भी इस्तेमाल कर रहे हैं।
प्रभाव: यह ऐप लोगों को उनके स्वास्थ्य और वित्तीय प्रबंधन के प्रति जागरूक बना रहा है।

क्या यह पूरी तरह सटीक है?

Death Clock ऐप विज्ञान और आंकड़ों पर आधारित है, लेकिन यह केवल एक संभावित अनुमान देता है। जीवनकाल और मृत्यु से जुड़े सटीक भविष्यवाणी करना AI की सीमाओं से परे है। इसे केवल एक गाइडलाइन के रूप में देखा जाना चाहिए, न कि अंतिम सत्य के रूप में।