सांसद कार्तिक शर्मा ने विश्व के टॉप शिक्षण संस्थानों के रीजनल सेंटर देश में खोलने का मामला उठाया

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MP Kartik Sharma
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  • निरंतर युवाओं, शिक्षा, स्वास्थ्य व आमजन से जुड़े मुद्दों को उठा रहे हैं युवा सांसद कार्तिक शर्मा

आज समाज डिजिटल, चंडीगढ़ | MP Kartik Sharma : युवा सांसद कार्तिक शर्मा सदन में निरंतर युवाओं, किसानों और आम आदमी से जुड़े मुद्दों के सदन में उठा रहे हैं। जारी संसद में उनके लगाए प्रश्नों के जवाब संबंधित केंद्रीय राज्य मंत्रियों द्वारा दिए गए हैं। इसी कड़ी में उन्होंने सवाल किया था कि क्या नई शिक्षा नीति के तहत विश्व के टॉप 100 शिक्षण संस्थानों के रीजनल सेंटर भारत में खुलेंगे।

साथ ही पूछा कि इन संस्थानों में सरकार की क्‍या भागीदारी होगी। इसके अलावा पढ़ाए जाने वाले पाठ्यक्रम और शुल्क निर्धारण करने की पावर किसके पास होगी। साथ ही पूछा कि क्या भारत में बनने वाले ये परिसर जिस प्रकार से यूके, यूएसए और अन्य देशों में अपने नागरिकों को शुल्क में छूट और अन्य बाकी सुविधाएं प्रदान करते हैं, क्या भारतीयों को भी इस तरह की सुविधाएं प्रदान की जाएगी।

इसको लेकर शिक्षा मंत्रालय राज्य मंत्री सुभाष सरकार ने लिखित जवाब में कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत परिकल्पना की गई है कि विश्वविद्यालयों को भारत में संचालित करने की सुविधा प्रदान कर की जाएगी। इसमें इस तरह के प्रवेश की सुविधा हेतु विधायी रूपरेखा विकसित की जाएगी। साथ ही ऐसे विश्वविद्यालयों को भारत के अन्य स्वायत्त संस्थानों के समान नियामक, शासन और सामग्री मानदंड संबंधी विशेष छूट दी जाएगी।

इसके अनुसार यूजीसी ने भारत में विदेशी उच्च संस्थानों के परिसरों की स्थापना को सुविधाजनक बनाने के लिए समर्थनकारी विनियमों का मसौदा तैयार किया है। यूजीसी (भारत में विदेशी उच्च शिक्षा संस्थानों के परिसरों की स्थापना और संचालन) विनियम, 2023 के मसौदे को सभी हितधारकों से प्रतिक्रिया, सुझाव और टिप्पणियां प्राप्त करने के लिए सार्वजनिक डोमेन में रखा गया है। विनयमों का मसौदा http://www.ugc.ac.in/pdgnews/9214094 Draft-Setting-up-and-Operation-of- campus-of-Foreign-Higher-Educational-institutions-in-India-Regulations-2023 पर उपलब्ध है।

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