पशुओं के लिए शुरू हुआ मुंहखूर और गलघोंटू टीकाकरण अभियान

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पशुओं के लिए शुरू हुआ मुंहखूर और गलघोंटू टीकाकरण अभियान
पशुओं के लिए शुरू हुआ मुंहखूर और गलघोंटू टीकाकरण अभियान
आज समाज डिजिटल, पानीपत:
पानीपत। पशुओं को गलघोंटू और मुंहखूर बीमारी से बचाने के लिए पशुपालन एवं डेयरी विभाग ने टीकाकरण अभियान शुरू कर दिया है। गांव बबैल में मंगलवार को टीकाकरण किया गया। पूरे हरियाणा में एक महीने तक यह अभियान चलेगा। डॉ.योगिता, वीएलडीए सुरेंद्र चोपड़ा, अनिल व सुशील की टीम ने पशुओं का टीकाकरण किया। डॉ.योगिता ने बताया कि यह कार्य तीन टीमें करेंगी।

गांव-गांव जाकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है

पशु चिकित्‍सालय बबैल के अंतर्गत आने वाले सभी गांव में घर-घर जाकर एक सप्‍ताह में यह अभियान पूरा किया जाएगा, जिससे मुंहखूर एवं गलघोंटू जैसी संक्रामक बीमारियों से पशुधन को बचाया जा सकता है। गांव-गांव जाकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है कि पशुओं का टीकाकरण करवाएं। टीकाकरण निशुल्‍क है। यह अभियान उपनिदेशक डॉ.संजय आंतिल एवं उपमंडल अधिकारी डॉ.अश्विनी मोर के निर्देशन में चलाया जा रहा है। इस अवसर पर पशु सहायक रामकरण, रवि दत्‍त, धन सिंह, नीरज मौजूद रहे।

 

पशुओं के लिए शुरू हुआ मुंहखूर और गलघोंटू टीकाकरण अभियान
पशुओं के लिए शुरू हुआ मुंहखूर और गलघोंटू टीकाकरण अभियान

क्‍यों जरूरी है टीकाकरण

मुंहखूर की बीमारी में मुंह में छाले हो जाते हैं। पैर गलने लगते हैं। पशु को बुखार तेज होता है, जो 105 तक पहुंच जाता है। खाना-पीना बंद कर देता है। ऐसी इसी तरह गल घोंटू में भी बुखार 105 तक पहुंच जाता है। निमोनिया बन जाता है। अगर समय पर इलाज न हो तो पशु की मौत भी हो सकती है। अगर पशु मुंह से लार निकालने लगे, चलने में दिक्‍क्‍त होने लगे तो तुरंत इलाज कराया जाना चाहिए। आज के समय में भैंस की कीमत 80 हजार से शुरू हो जाती है। पशुधन को बचाएंगे तो अपनी आय के जरिया को भी सुरक्षित रख सकेंगे। टीकाकरण का कोई नकारात्‍मक असर नहीं है। पूरे राज्‍य में 55 लाख वैक्‍सीन लगाई जाएंगी।