करनाल, 1अप्रैल, इशिका ठाकुर:
करनाल जिले में हुई बे-मौसमी बरसात के चलते किसानों की फसल को काफी नुकसान हुआ है। प्रदेश सरकार ने किसानों की फसल के नुकसान को लेकर शीघ्र मुआवजा दिए जाने की बात कही है।
मेरी फसल -मेरा ब्यौरा पोर्टल पर फसल पंजीकरण अनिवार्य
जिले में खराब फसल के आकलन और सत्यापन को लेकर चर्चा करते हुए करनाल उपायुक्त अनीश यादव ने कहा की हरियाणा सरकार की ओर से पारदर्शी प्रणाली से क्षतिग्रस्त फसलों के लिए आकलन, सत्यापन और मुआवजे की व्यवस्था की गई है। हरियाणा सरकार द्वारा बेमौसमी बरसात से प्रभावित किसानों को राहत देने के लिए मेरी फसल -मेरा ब्यौरा पोर्टल को फिर से 3 अप्रैल तक खोल दिया गया है। क्षतिपूर्ति पोर्टल पर फसल खराबे की सूचना दर्ज करने के लिए मेरी फसल -मेरा ब्यौरा पोर्टल पर फसल पंजीकरण अनिवार्य है। अब मेरी फसल मेरा ब्यौरा पोर्टल खुलने से प्रभावित किसान अपना पंजीकरण कर क्षतिपूर्ति पोर्टल पर अपनी फसल खराबे की सूचना दर्ज कर सकते हैं।
उपायुक्त ने किसानों का आह्वान किया कि वे मेरी फसल-मेरा ब्योरा पोर्टल पर 3 अप्रैल तक अपनी फसलों का पंजीकरण करवाकर क्षतिपूर्ति पोर्टल पर नुकसान को दर्ज करवाएं। सरकार की ओर से किसानों के हित में ई-फसल क्षतिपूर्ति पोर्टल को दोबारा खोला गया है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत फसल का बीमा करवाने वाले किसानों के लिए 72 घंटे में नुकसान का दावा किया जाना अनिवार्य है। इसलिए किसान यथाशीघ्र अपनी फसलों को हुए नुकसान का विवरण ई-फसल क्षतिपूर्ति पोर्टल पर दर्ज करवाकर फसल नुकसान का मुआवजा ले सकते है। सरकार द्वारा गेंहू की फसल के लिए 75 प्रतिशत से अधिक नुकसान होने की स्थिति में 15 हजार रुपये तथा 50 से 75 प्रतिशत तक नुकसान की स्थिति में 12 हजार रुपये प्रति एकड़ मुआवजा निर्धारित किया गया है।
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