हरियाणा का हर खेत होगा स्वस्थ खेत
इस वित्त वर्ष में 25 लाख एकड़ भूमि की होगी मिट्टी जांच
आज समाज डिजिटल, चंडीगढ़:
मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने ‘हर खेत-स्वस्थ खेत’ अभियान के तहत गुरुवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रदेश में खंड स्तर पर स्थापित की गर्इं 40 नई मिट्टी जांच प्रयोगशालाओं का उद्घाटन किया। प्रथम चरण में इन प्रयोगशालाओं के माध्यम से इस वर्ष 25 लाख एकड़ भूमि की मिट्टी जांच की जाएगी। उद्घाटन अवसर पर हरियाणा के कृषि मंत्री जेपी दलाल और मार्कीटिंग बोर्ड के चेयरमैन नयनपाल रावत भी मौजूद रहे। इनके अलावा केन्द्रीय राज्य मंत्री कृष्णपाल गुज्जर, प्रदेश के मंत्री, सांसद एवं विधायक भी वीसी के माध्यम से जुड़े।
मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के स्वप्न को साकार करने का लक्ष्य हमने लिया है। इसी के तहत प्रदेश में मिट्टी जांच प्रयोगशालाएं स्थापित की गई हैं, ताकि किसानों को मिट्टी की जांच के आधार पर यह अवगत करवाया जा सके कि किस फसल की बिजाई करना किसानों के हित में होगा। अगले तीन वर्षों में प्रदेश की सम्पूर्ण 75 लाख एकड़ कृषि भूमि की मिट्टी की जांच की जाएगी।
आर्गेनिक खेती की तरफ बढ़ने का आह्वान
मुुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा ने देश के खाद्यान्न भंडार को भरने के लिए अहम योगदान दिया है। जब हरित क्रांति आई तो प्रदेश के किसानों ने भरपूर उत्पादन कर देश में खाद्यान्न की कमी को पूरा किया। उन्होंने कहा कि आज खाद्यान्न उत्पादन की मात्रा के साथ-साथ गुणवत्ता पर भी ध्यान देने की आवश्यकता है। मुख्यमंत्री ने किसानों से आर्गेनिक और प्राकृतिक खेती की तरफ बढ़ने का आह्वान करते हुए कहा कि ऐसा करने से खाद्य उत्पादों के कारण निरंतर बढ़ रही बीमारियों की रोकथाम में भी किसान अहम भूमिका निभाएंगे।
विद्यार्थी पढ़ाई के साथ कमाई भी कर सकेंगे
मुख्यमंत्री ने कृषि विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि सीनियर सेकेंडरी स्कूलों एवं कॉलेजों के विद्यार्थियों की मृृदा जांच के कार्य में भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए व्यापक योजना बनाएं ताकि विद्यार्थी पढ़ाई के साथ कमाई भी कर सकें। उन्होंने कहा कि किसान के बेटे पढ़ाई के साथ खेतों से मिट्टी के नमूने एकत्र करने का काम रुचि लेकर करेंगे, इससे उनकी आय भी होगी। इस कार्य में लगे विद्यार्थियों को प्रति नमूना 40 रुपए का मानदेय दिया जाएगा। क्रार्यक्रम के दौरान बताया गया कि गत वर्ष स्कूलों एवं कॉलेजों के 115 विज्ञान अध्यापकों एवं सहायक प्रोफेसरों को मृृदा परीक्षण का प्रशिक्षण सीएसएसआरआई करनाल एवं एचएयू हिसार में दिया जा चुका है। राजकीय सीनियर सेकेंडरी स्कूलों में 50 लघु मृदा प्रयोगशालाएं पहले ही स्थापित की जा चुकी हैं और 65 अन्य ऐसी प्रयोगशालाएं स्कूलों एवं कॉलेजों में स्थापित की जा रही हैं।
किसानों को घर के निकट मिलेगी मिट्टी जांच की सुविधा : दलाल
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रदेश के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि हरियाणा सरकार ने प्रदेश में मृदा परीक्षण प्रयोगशालाओं के जाल बिछाने की योजना बनाई है। इसी के तहत गुरुवार को 40 नई प्रयोगशालाओं का उद्घाटन किया गया है। अब किसानों को अपने खेत की मिट्टी की जांच करवाने की सुविधा उनके घर के नजदीक ही मिलेगी। उन्होंने कहा कि अभी तक सूक्ष्म तत्वों के विश्लेषण की सुविधा सभी प्रयोगशालाओं में नहीं थी, परंतु अब यह सुविधा प्रत्येक प्रयोगशाला में उपलब्ध होगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश की 75 लाख भूमि की मृदा जांच का कार्य तीन साल में किया जाएगा और इसके तहत मृदा स्वास्थ्य जांच कार्ड प्रदान किए जाएंगे।
एनएबीएल प्रमाणन होंगी प्रयोगशालाएं
क्रार्यक्रम के दौरान कृषि एवं किसान कल्याण विभाग की एसीएस डॉ. सुमिता मिश्रा ने बताया कि इसी वित्त वर्ष में पंचकूला और करनाल स्थित दो मृदा परीक्षण प्रयोगशालाओं का राष्ट्रीय परीक्षण और अशंशोधन प्रयोगशाला प्रत्यायन बोर्ड (एनएबीएल) से एक्रीडेशन करवाया जाना प्रस्तावित है। भारत में हरियाणा पहला राज्य होगा, जहां भूमि परीक्षण प्रयोगशलाओं का एनएबीएल एक्रीडेशन होगा।
इस मौके पर पर्यावरण विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव धीरा खंडेलवाल, मुख्यमंत्री की उपप्रधान सचिव आशिमा बराड़, कृषि विभाग के महानिदेशक हरदीप सिंह और प्रबंधक निदेशक विनय सिंह सहित कृषि विभाग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।
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