(Mahendragarh News) महेंद्रगढ़। वेद प्रचार मंडल एवं आर्य समाज के तत्वावधान में 14 जुलाई रविवार को डॉक्टर आनंद यादव के यजमानत्त्व मे साप्ताहिक यज्ञोपरांत आर्य समाज मुख्यालय महेंद्रगढ़ के प्रांगण में पौधा रोपण का कार्यक्रम डॉ. प्रेम राज आर्य के नेतृत्व में किया गया। पौधे लगाने के दौरान डॉ. प्रेम राज आर्य ने बताया कि पर्यावरण में हमारे चारों ओर का वातावरण जल, वायु, आकाश, वनस्पति जीव-जंतु सभी का समावेश है।
अंधाधुंध वनों की कटाई, प्राकृतिक संसाधनों का दुरुपयोग, जल स्रोतों का दोहन, कल कारखानों की चिमनी से निकला जहरीला धुआं और अनेक हानिकारक अपशिष्टो से युक्त जल तथा भयंकर शोर ने पर्यावरण को अत्यधिक असंतुलित कर दिया है। इसका एकमात्र उपाय बरसात के मौसम में प्रत्येक व्यक्ति को एक-एक पौधा अवश्य लगाकर उनके संरक्षण की भी जिम्मेवारी लेनी चाहिए। पेड़ पौधे धरती का श्रृंगार है। पेड़ पौधों से पृथ्वी पर ऋतु चक्र बना रहता है। पेड़ धरती पर वर्षा लाने में सहायक होते हैं।
आर्य समाज के प्रधान ने बताया की हमारी वैदिक संस्कृति में जीवन का आधार ही जलवायु भूमि आदि प्रकृति के पांच तत्वों को माना गया है। प्रकृति की पवित्रता बनाए रखना तथा संरक्षण करना हमारा संवैधानिक दायित्व है । समाज के पूर्व मंत्री वेद प्रकाश आर्य के पिता मास्टर रतनलाल सिसोठ के आकस्मिक निधन पर उनकी आत्मिक शांति के लिए 2 मिनट का मौन रखकर शत-शत नमन किया ।
इस अवसर पर बहन केसर आर्या, नेहरू मुनी, कवि, गुरु बृहस्पति शास्त्री, हेड मास्टर वीरेन्द्र जांगिड़, वीर सिंह मेंघनवास, डॉ. विक्रांत डागर, बाबू रंग राव सिंह आर्य, सुभाष नंबरदार, कप्तान सुरेंद्र पाल रसूलपुर, महेंद्र दीवान, प्राचार्य विजय पाल, सूबेदार मेजर सुबे सिंह खेड़ा, जयप्रकाश माण्डोला आदि ने उपस्थित रहकर पौधारोपण का कार्य किया।