(Mahendragarh News) नारनौल। जिला एवं सत्र न्यायाधीश एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष नरेंद्र सुरा के दिशा निर्देशानुसार एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की सचिव एवं मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी शैलजा गुप्ता के मार्गदर्शन में आज गांव दोचाना में विधिक सेवा दिवस पर कानूनी जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया।
इस मौके पर अधिवक्ता गिरिबाला यादव ने बताया कि हर साल भारत में 9 नवंबर को राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस मनाया जाता है। इस दिन देश के सभी नागरिकों को उचित, निष्पक्ष और न्याय प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए जागरूक किया जाता है।
राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस की शुरुआत पहली बार 1995 में भारत के सर्वोच्च न्यायालय द्वारा समाज के गरीब और कमजोर वर्गों को सहायता और समर्थन प्रदान करने के लिए की गई थी। भारत के संविधान अनुच्छेद 39 ए और इसकी समिति द्वारा की गई सिफारिशों के अनुसार केंद्र सरकार द्वारा कानून सेवा प्राधिकरण अधिनियम 1987 को अधिनियमित किया गया था। इस अधिनियम को 1994 को संशोधन अधिनियम के बाद 9 नवंबर 1995 में लागू किया गया। इस अधिनियम के माध्यम से कमजोर वर्ग विकलांग व्यक्तियों को मुफ्त कानूनी सहायता प्राप्त करने का अधिकार दिया गया है। न्याय प्राप्त करने के लिए किसी भी प्रकार का भेदभाव नहीं है। सभी को समान अवसर दिए जाना इस अधिनियम के तहत शामिल है। इसके साथ-साथ उन्हें उनके अधिकारों के बारे में जागरूक करने का प्रयास भी करता है।
इस मौके जिला समाज कल्याण विभाग की और से मिलने वाली विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के बारे में भी जानकारी दी गई। नालसा योजना सहित विभिन्न विषयों पर कानूनी जानकारी दी गई। नालसा हेल्पलाइन नंबर 15100 के बारे में विस्तृत रूप से जानकारी दी गई। इस अवसर पर मूलचंद सरपंच, मदनलाल, सुरेश कुमार, विवेक, जतिन, परमानंद, राहुल, माया, चंपा सुमित्रा, सावित्री हाजिर रहे।
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