Lok Adalat News
आज समाज डिजिटल, तोशाम:
राष्ट्रीय लोक अदालत के दौरान शनिवार को 94 मामले रखे गए। अतिरिक्त सिविल जज (सीनियर डिवीजन) श्री जोगेंद्र सिंह ने राष्ट्रीय लोक अदालत लगाकर 91 मामलों का मौके पर ही निपटारा कर दिया। साथ ही रिकवरी, एमवी एक्ट आदि से जुड़े मामलों में 80 लाख 75 हजार 431 रुपये की कुल राशि का निपटान हुआ।
बैठक में कई केस निपटे: (Lok Adalat News)
जिला एवं सत्र न्यायाधीश श्री रमेशचन्द्र डिमरी के मार्गदर्शन में आयोजित राष्ट्रीय लोक अदालत में चैक बाउंस, रिकवरी, ट्रैफिक, सिविल केस सहित विभिन्न मामलों का दोनों पक्षों की सुनवाई व उनकी सहमति के बाद निपटारा किया गया। इस मौके पर एसडीजेएम श्री जोगेंद्र सिंह ने कहा कि लोगों को लोक अदालतों के माध्यम से भी अपने मामले सुलझाने चाहिएं। आपस में बैठकर निपटाए गए मामले जल्दी सुलझ जाते हैं। उन्होंने कहा कि लोक अदालत में विवादों का सुलभ तरीके से निपटारा होता है। लोगों को इसका लाभ उठाते हुए अपनी समस्याओं का कानूनी समाधान करना चाहिए।
लोक अदालत भाईचारे पर आधारित (Lok Adalat News)
उन्होंने कहा कि लोक अदालतों से निपटाए गए मामलों में भाईचारा स्थापित होता है। इसलिए लोक अदालतों का भी लोगों को फायदा उठाना चाहिए। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय लोक अदालत फैसला अन्तिम फैसला होता है इसकी कहीं भी अपील नहीं होती इसका अधिक से अधिक आमजन को लाभ उठाना चाहिए। एसडीजेएम श्री जोगेंद्र सिंह ने कहा कि राष्ट्रीय लोक अदालत आयोजित करने का उद्देश्य वादियों को अपने विवादों को सौहार्दपूर्ण ढंग से निपटाने के लिए एक मंच प्रदान करना है। उन्होंने कहा कि लोक अदालत वैकल्पिक विवाद समाधान की एक प्रणाली है जो भारत में उत्पन्न हुई और बदलते समय के साथ एक प्रणाली के रूप में स्थापित हुई है।
बना रहता है सामाजिक सद्भाव:
लोक अदालतें न केवल लंबित विवाद या पार्टियों के बीच उत्पन्न होने वाले विवादों को सुलझाती है बल्कि यह सामाजिक सद्भाव को भी सुनिश्चित करती हैं क्योंकि विवाद करने वाले पक्ष अपने मामलों को अपनी पूर्ण संतुष्टि के साथ सौहार्दपूर्ण ढंग से सुलझाते हैं। यह अदालतों में भीड़-भाड़ को भी कम करता है क्योंकि आगे की मुकदमेंबाजी को समाप्त करने के लिए पक्षों की सहमति से मामलों को सौहार्दपूर्ण ढंग से सुलझाया जाता है। इस मौके पर रीडर मुकेश कुमार, सरदार अनूप सिंह आदि स्टाफ सदस्यों के अलावा एडवोकेट पवन ढाका, संजय कुमार, सत्यवान श्योराण, नरेंद्र कुमार सहित विभिन्न अधिवक्ता उपस्थित थे।