प्रवीण वालिया, करनाल :
- 10 करोड़ रूपये से अधिक की राशि की जारी
नगर निगम के अतिरिक्त आयुक्त गौरव कुमार ने बताया कि प्रधानमंत्री आवास योजना, राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन और पीएम स्वनिधि जैसी केन्द्र सरकार की फ्लैगशिप सकीमो में नगर निगम करनाल ज्यादा से ज्यादा लोगों को लाभ पहुंचाकर उन्हें स्वावलम्बी बनाने के भरसक प्रयास कर रहा है। इसके लिए नगर निगम समय-समय पर विशेष शिविरों का आयोजन भी करता है, जिनमें विभिन्न बैंको के प्रतिनिधि भी मौजूद रहते हैं, ताकि मौके पर ही पात्र व्यक्ति को स्कीमो का लाभ दिया जा सके।
होम लोन का विकल्प चुनने वाले लाभार्थी के लिए
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री आवास योजना (पीएमएवाई), हाऊसिंग फॉर आल यानि सभी के लिए घर के कॉन्सैप्ट को लेकर शुरू की गई थी। इसमें क्रेडिट लिंक सब्सिडी स्कीम के घटक में होम लोन का विकल्प चुनने वाले लाभार्थी को 2 लाख 67 हजार रूपये तक की ब्याज सब्सिडी का लाभ ले सकते हैं। यह राशि घर खरीदने या उसके निर्माण के लिए दी जाती है। उन्होंने बताया कि इस स्कीम का ज्यादा से ज्यादा लोगों को लाभ मिले, इसके लिए कर्मचारियों को निजी रूचि लेकर काम करने के निर्देश दिए गए हैं।
अतिरिक्त आयुक्त ने बताया कि प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत करनाल अर्बन में कुल 2134 लाभार्थियों की डी.पी.आर. बनी थी। इनमें से 1925 एम.आई.एस. पोर्टल के साथ सम्बद्ध हुए। प्रारम्भिक स्तर पर 1842 लाभार्थियों की जियो टैगिंग की गई, इनमें से सुपरवाईजर द्वारा 1191 की जियो टैगिंग स्वीकार हुई तथा 651 रिजेक्ट हुए। उन्होंने बताया कि 897 लाभार्थियों को लेटर ऑफ इंटेट यानि आशय पत्र जारी किए गए। इसके अतिरिक्त 598 लाभार्थियों को पहली, 440 को दूसरी तथा 285 को तीसरी किश्त जारी की जा चुकी है तथा इस स्कीम के तहत अब तक 10 करोड़ रूपये से अधिक की राशि जारी की जा चुकी है।
2 प्रतिशत राज्य सरकार की ओर से सब्सिडी का प्रावधान
उन्होंने बताया कि पीएम स्वनिधि स्कीम, प्रधानमंत्री द्वारा कोविड के दौर में ऐसे रेहड़ी-पटरी वालों के लिए शुरू की गई थी, जो आर्थिक रूप से कमजोर हो गए थे। उनका काम-धंधा दोबारा शुरू करवाने के लिए 10 हजार रूपये का ऋण देने की सुविधा दी गई थी। जो व्यक्ति नियमित रूप से ऋण की किश्तें चुका देता है, उसे 20 हजार रूपये का ऋण और 20 हजार रूपये के ऋण की भी नियमित किश्तें चुकाने वाले वैंडर को 50 हजार रूपये का ऋण दिया जा रहा है। सरकार की ओर से इस स्कीम की अवधि भी वर्ष 2024 तक बढ़ा दी गई है। खास बात यह है कि इस स्कीम में ऋण के ब्याज पर आकर्षक सब्सिडी दी जाती है, जिसमें 7 प्रतिशत केन्द्र की ओर से और 2 प्रतिशत राज्य सरकार की ओर से सब्सिडी का प्रावधान है।
अतिरिक्त आयुक्त ने राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (एन.यू.एल.एम.) स्कीम की जानकारी देते बताया कि इस स्कीम से स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को ज्यादा से ज्यादा जोडक़र उन्हें रोजगार से जोड़ा जाता है। उन्होंने बताया कि स्कीम के तहत ऐसी महिलाओं की सेविंग बढ़ाने पर भी जोर दिया जाता है और जो महिलाएं सरकार की दूसरी स्कीमों में भी काम शुरू करना चाहती हैं, उन्हें उनकी जानकारी दी जाती है। उन्होंने बताया कि इस स्कीम में लाभार्थियों को 2 लाख रूपये तक का ऋण दिया जाता है, जिसमें लाभार्थी को 7 प्रतिशत ब्याज चुकाना होता है, शेष ब्याज पर सरकार की ओर से सब्सिडी दी जाती है। एनयूएलएम के अंतर्गत स्व रोजगार कार्यक्रम-1 की जानकारी देते निगमायुक्त ने बताया कि सालाना 2 लाख रूपये वार्षिक आय तक के परिवार के सदस्य को 2 लाख रूपये तक का ऋण बैंकों के माध्यम से दिलवाया जाता है।
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