आज के समय में बेटियां किसी भी क्षेत्र में बेटों से पीछे नहीं हैं। बेटियां शिक्षा, व्यापार, राजनीति और यहां तक की अंतरिक्ष में भी लड़कों के समान काम कर रही हैं। यदि हम बेटी को शिक्षित करते हैं तो उससे दो परिवार शिक्षित होते हैं। यदि बेटियों को समान अवसर प्रदान किए जाएं तो वे हर क्षेत्र में अपनी क्षमता से अधिक योगदान देती हैं।
आशा वर्करों को शपथ दिलाते हुए लिंगानुपात में सुधार
लड़का-लड़की में कोई भेद नहीं है। जिला में लिंगानुपात में सुधार के दृष्टिगत जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन निरंतर जारी है। इस कड़ी में शुक्रवार को कुंजपुरा के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र व घीड़ तथा रम्बा के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में आशा वर्करों को शपथ दिलाते हुए लिंगानुपात में सुधार के लिए जागरूकता कार्यक्रम चलाने का आह्वान किया गया।
लिंग जांच की सूचना पर जानकारी अविलम्ब प्रशासन के साथ सांझा करें
कार्यक्रम में जिला आशा कोर्डिनेटर संजीव कुमार ने आशा वर्करों में अपने संबंधित क्षेत्र में पीसीपीएनडीटी एक्ट की अनुपालना सुनिश्चित करने संबंधी दिशा-निर्देश दिए और कहा कि आपके क्षेत्र में कहीं भी लिंग जांच की सूचना मिलती है तो इसकी जानकारी अविलम्ब प्रशासन के साथ सांझा करें। जानकारी देने वाले का नाम गुप्त रखा जाता है।
पढ़ने और आगे बढ़ने के अवसर
उन्होंने कहा कि आज के समय में बेटे और बेटी में कोई फर्क नहीं है। बेटियां भी आसमान छूं रही है, जरूरत है तो केवल उन्हें अवसर देने की। बेटियों को भी बेटों के सामान पढ़ने और आगे बढ़ने के अवसर मिलने चाहिए। इसी में सशक्त समाज का मंत्र निहित है। बेटियों के पढ़ने से दो घरों से अनपढ़ता का अंधकार दूर होता है। इस मौके पर ब्लॉक आशा कोर्डिनेटर विपिन काम्बोज, टीबी सुपरवाईजर रज्रेश कुमारी सहित आशा वर्कर उपस्थित रही।