- बच्चे कम होने या स्कूल बंद या मर्ज होने पर वर्कर्स को न हटाया जाए
(Jind News)जींद। मिड डे मील वर्कर्स ने शनिवार को मांगों को लेकर प्रदर्शन किया। प्रदर्शन से पहले वर्कर्स नेहरू पार्क में जिला प्रधान कैलाश की अध्यक्षता में एकत्रित हुई। मंच का संचालन जिला सचिव सुनीता ने किया। वर्कर्स ने मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।मिड डे मील वर्कर्स यूनियन राज्य उपप्रधान सुनीता और राज्य कमेटी सदस्य संदीप जाजवान ने कहा कि विधानसभा के उपाध्यक्ष और जींद के विधायक डा. कृष्ण मिड्ढा को मांग पत्र सौंपना था लेकिन बेटी बचाओ ओर बेटी पढ़ाओ का नारा देने वाले भाजपा सरकार के मंत्रियों और विधायकों के पास महिलाओं की समस्याओं को सुनने तक का टाइम नही है।
20 को पूरे हरियाणा की मिड डे मिल वर्कर्स हड़ताल करके अपने जिले में उपायुक्त कार्यालय पर प्रदर्शन करेंगे
फिर अपनी मांगों का मांग पत्र जिला शिक्षा मौलिक अधिकारी सुभाष चंद्र को सौंपा। उन्होंने 17 अप्रैल को यूनियन के प्रतिनिधि मंडल से बैठक का समय दिया ओर अपने लेवल की समस्याओं के समाधान का आश्वासन दिया। उन्होंने कहा कि पानीपत, सोनीपत व करनाल की मिड डे मील वर्कर्स शिक्षा मंत्री महीपाल डांडा के आवास पानीपत में प्रदर्शन कर रही हैं। अगर शिक्षा मंत्री ने भी मिड डे मिल वर्कर्स की मांगो का समाधान नही किया तो 20 को पूरे हरियाणा की मिड डे मिल वर्कर्स हड़ताल करके अपने जिले में उपायुक्त कार्यालय पर प्रदर्शन करेंगे।
वर्कर्स का न्यूनतम वेतन 26 हजार रुपये किया जाए और पूरे 12 महीने का वेतन दिया जाए
वर्कर्स लंबे समय से अपनी मांगों व समस्याओं को लेकर आंदोलनरत हैं लेकिन प्रदेश सरकार उनकी मांगों को लेकर गंभीर नहीं है सरकार की बेरुखी है। यूनियन द्वारा मांग की गई कि वर्कर्स का बकाया व कटा हुआ मानदेय तुरंत जारी किया जाए। बच्चे कम होने या स्कूल बंद या मर्ज होने पर वर्कर्स को न हटाया जाए व हटाई गई वर्करों को दोबारा काम पर लिया जाए। बच्चे कम होने पर वर्कर को अन्य सरकारी स्कूल में समायोजित किया जाए। वर्कर्स का न्यूनतम वेतन 26 हजार रुपये किया जाए और पूरे 12 महीने का वेतन दिया जाए।
वर्कर्स का मानदेय उसके खाते में सात तारीख तक डाला जाए। केंद्र व राज्य का मानदेय इक_ा और बिना कांट व छांट के दिया जाए। इसके अलावा वर्कर्स को रिटायरमैंट पर दो लाख रुपये व दुर्घटना में घायल या मृत्यु होने पर मुआवजा दिया जाए। स्कूलों में स्वयं सहायता समूह बंद करनेए महीने में दो अवकाश देने, मेडिकल निशुल्क करने, 12वीं तक बच्चों को मिड डे मील योजना में लाने पर वर्कर्स को पक्का करने आदि की मांग उठाई गई। इस मौके पर पिंकी, मुकेश, अनीता, नीलम, रानी, सुनीता, बाला, कविता आदि भी मुख्य रूप से शामिल रही।