(Jind News)जींद। उचाना हलके में जनसंपर्क अभियान के दौरान कांग्रेस नेता एवं पूर्व सांसद बृजेंद्र सिंह ने जहां दुष्यंत चौटाला पर निशाना साधा तो राहुल गांधी को नायक बताया। प्रदेश में बढ़ रही आपराधिक वारदातों पर संज्ञान कम लेने पर सरकार पर निशाना साधा तो अमित शाह के हरियाणा दौरे पर भी अपनी प्रतिक्रया दी।
रामकुमार घोघड़ियां के राइस मिल पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए बृजेंद्र सिंह ने भाजपा के साथ जाने से जजपा को हुए नुकसान के बयान पर बोलते हुए कहा कि दुष्यंत चौटाला को लोगों ने भाजपा के खिलाफ वोट दिए थे लेकिन चुनाव के बाद वो भाजपा के साथ चले गए।
साढ़े चार साल विभिन्न विभागों के मंत्री वो रहे। साढ़े चार साल के दौरान एक बार भी ऐसा नहीं लगा कि गठबंधन में आपस में कोई खटास है। जब गठबंधन तोड़ा तो किसी मुद्दे को लेकर नहीं बल्कि बहाना ऐसा बनाया गया कि भाजपा उन्हें लोकसभा की सीट कम दे रही थी, इसलिए गठबंधन तोड़ना पड़ा। अब लोगों का ध्यान भटकाने के लिए वो इस तरह के बयान दे रहे हैं लेकिन मतदाता इस बार उनके बहकावे में नहीं आएगा।
हरियाणा में लगातार बढ़ रही हैं आपराधिक वारदातें
बृजेंद्र सिंह ने कहा कि हरियाणा में आपराधिक वारदातें लगातार बढ़ रही हैं। हिसार की तर्ज पर ही पहले गोहाना में भी घटना हुई थी। कानून व्यवस्था की स्थिति सुधारना सरकार की पहली प्राथमिकता होती है। सरकार को इस तरह की वारदातों को रोकने के लिए सख्त कार्रवाई करनी चाहिये। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के हरियाणा दौरे पर बोलते हुए पूर्व सांसद ने कहा कि अब चुनाव महाराष्ट्र और हरियाणा में विधानसभा के चुनाव आने है। इन दोनों प्रदेशों में भाजपा को जिस तरह से झटका लगा है, इससे स्थिति हाथ से निकल चुकी है।
भाजपा रहना चाहती है भूतकाल में
सांसद बृजेंद्र सिंह ने कहा कि राहुल गांधी सही मायनों में असली नायक साबित हुए है। अब वो पूरे विपक्ष के सर्वमान्य लीडर हैं। संसद में अब उनका एक नया रूप देखने को मिलेगा। भाजपा द्वारा प्रदेश में मनाए गए आपातकाल को लेकर काला दिवस पर बोलते हुए कांग्रेस नेता ने कहा कि ऐसा लगता है कि भाजपा भूतकाल में रहना चाहती है। वो भूतकाल चाहे 50 साल पुराना हो या फिर 500 साल पुराना हो। इमरजेंसी 1975 में थी और अब 2024 चल रहा है।उन्होंने ये भी कहा कि संसद में स्पीकर का बड़ा मान सम्मान होता है और स्पीकर इस प्रकार का बिल्कुल राजनीति प्रपंच करे और उस पर प्रस्ताव पास करवाए तो ये संकेत अच्छे नहीं हैं।
एक अच्छी संसद को चलाने के लिए मुख्य भूमिका सही मायनों रूलिंग पार्टी, स्पीकर की होती है लेकिन पिछले दो दिनों से जो हो रहा है, उन्होंने शायद इस चुनाव से असली सबक अभी लिया नहीं। इस मौके पर राममेहर दनौदा, राजेंद्र चहल, जसवंत उचाना खुर्द, कुलदीप घोघड़ियां, कुलबीर नंबरदार, दिलबाग आर्य, सुरेंद्र गर्ग, दिनेश थुआ, श्रीराम उचाना खुर्द, दीपक सरपंच प्रतिनिधि, रामबिलास, राजेश, अजीत, सतपाल, भगत सिंह पटवारी, रामनिवास बूरा मौजूद रहे।