- जब तक मांगों को पूरा नही किया जाता, तब तक पीछे नही हटेंगे।
(Jind News) जींद। स्वास्थ्य विभाग के राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन कर्मचारी सांझा मोर्चा के आह्वान पर कर्मियों की हडताल 22वें दिन भी जारी रही। शुक्रवार को जहां पर्चे वितरित कर अपनी मांगों को आमजन से अवगत करवाया। वहीं स्वतंत्रता दिवस पर कर्मियों ने रक्तदान किया। रक्तदाताओं को बैज लगा कर व प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया। कर्मचारियों ने शहर व गांव में अपनी मांगों संबंधित पर्चे आमजन में बांटे। एनएचएम कर्मचारियों की हड़ताल के कारण सभी स्वास्थ्य सेवाओं पर असर पड़ रहा है। जिसमें लेबर रूम में डिलीवरी का कार्य, नर्सरी में नवजात शिशुओं की देखरेख का कार्य, केएमसी यूनिटए रेफरल, ट्रांसपोर्ट एम्बुलेंस सुविधा न मिलना, जन्म-मृत्यु विभाग कार्य, मेंटल हैल्थ, केंद्रीय औषधि विभाग कार्य, स्कूल हैल्थ (आरबीएसके) व आरकेएसके टीम द्वारा फील्ड में बच्चों के स्वास्थ्य जांच कार्य, एनसीडी, एनआरसी, टीबी विभाग, आयुष विभाग, एनएचएम कार्यालय, पीपी सेंटर, टीकाकरण कार्य, सभी सीएचओ व रिपोर्टिंग आदि कार्य शामिल रहे। जबकि एनएचएम कर्मचारी पिछले काफी सालों से स्वास्थ्य विभाग में अपनी सेवाएं दे रहे हैं तथा अपना काम पूरी लग्र, ईमानदारी व निष्ठा से करते आ रहे हैं।
उन्होंने मांग की कि एनएचएम कर्मचारियों को पक्का कर्मचारी घोषित किया जाए। सातवें वेतनमान का लाभ दिया जाए, सर्विस रूल के साथ कोई छेड़छाड़ न की जाए। कैशलैस मेडिकल सुविधा देने, एलटीसी, ग्रेजुएटी व एक्सग्रेशिया का लाभ दिया जाए। कर्मचारियों को सेवा के अनुसार ईएल, स्टडी लीव, ट्यूशन फीस का लाभ दिया जाए। आयुष्मान भारत योजना के तहत सीएचओ कैडर की एसओपी को लागू किया जाए। बांड प्रथा को समाप्त करने, एनएचएम कर्मियों को ट्रांसफर सुविधा देने, वर्ष 2017 से 2024 तक कर्मियों द्वारा दी गई हड़ताल अवधि का वेतन जारी करने व सेवा अवधि में गणना की जाए।
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