- पहली से 12वीं तक के विद्यार्थियों को दे रहा है अंग्रेजी का ज्ञान
- हर रोज तीन घंटे तक देता है विद्यार्थियों को मुफ्त कोचिंग
(Jind News) जींद। ग्रामीण अंचल के विद्यार्थी की अंग्रेजी विषय में अच्छी पकड़ हो इसको लेकर काब्रच्छा गांव की चौपाल में जेबीटी टीचर राजेश कुमार गांव की चौपाल में क्लास लगा कर विद्यार्थियों को शीतकालीन अवकाश में तीन घंटे मुफ्त में कोचिंग दे रहा है। पहली कक्षा से लेकर 12वीं कक्षा तक के करीब 60 विद्यार्थी हर रोज चौपाल में अंग्रेजी विषय को पढऩे के लिए पहुंच रहे है।
जेबीटी अध्यापक राजेश कुमार सात बार एचटेट पास कर चुके
यहां पर क्लास की शुरूआत स्कूल की तरह पहले प्रार्थना सभा करके की जाती है। राजेश कुमारी गुरूग्राम जिले में जेबीटी टीचर के तौर पर कार्यरत हैं। इन दिनों वो गांव में शीतकालीन अवकाश में आया हुआ है। जेबीटी अध्यापक राजेश कुमार सात बार एचटेट पास कर चुके है तो वो एमए इंग्लिश भी है।
राजेश कुमार ने बताया कि शीतकालीन अवकाश में वो गांव में आया तो उसके मन में आया कि वो गांव के पहली कक्षा से लेकर 12वीं कक्षा तक के विद्यार्थियों को अंग्रेजी विषय पर मुफ्त कोचिंग दे ताकि विद्यार्थियों को अंग्रेजी का ज्ञान होने के साथ.साथ उनकी अंग्रेजी विषय पर पकड़ मजबूत हो।
आम तौर पर ग्रामीण अंचल के विद्यार्थी अंग्रेजी विषय में कुछ कमजोर होते है। अंग्रेजी विषय के चलते विद्यार्थी पढ़ाई से भी बचने लगते है। शीतकालीन अवकाश में जब उसने इस तरह की शुरूआत करने की जानकारी सरपंचए ग्रामीणों को दी तो सभी ने इस की सराहना की।
60 के करीब विद्यार्थी इन दिनों अंग्रेजी विषय को पढऩे के लिए आ रहे
गांव की चौपाल को इसके लिए चुना गया जहां पर अब हर रोज सुबह 9 बजकर 30 मिनट से 11 बजकर 30 मिनट तक मुफ्त कोचिंग वो विद्यार्थियों को दे रहे है। 60 के करीब विद्यार्थी इन दिनों अंग्रेजी विषय को पढऩे के लिए आ रहे है। सेवानिवृत बीईओ धर्मबीर श्योकंद, सेवानिवृत्त मा. धूप सिंह काब्रच्छा ने कहा कि जेबीटी अध्यापक राजेश कुमार ने सराहनीय कार्य शीतकालीन अवकाश में किया है।
इस तरह से सभी को चाहिए कि वो अपने-अपने गांव में समय निकाल कर विद्यार्थियों को अलग.अलग विषय की पढ़ाई करवाएं ताकि जो विद्यार्थी जिस विषय में कमजोर हो उसको वो आसानी से कोचिंग लेकर पढ़ सकें। शिक्षा से ही जीवन है। अंग्रेजी विषय में ग्रामीण अंचल के विद्यार्थी पढऩे से बचते हैं। इस तरह की कोचिंग मिलने से विद्यार्थियों की रूचि अंग्रेजी विषय को पढऩे के लिए बढ़ेगी।
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