Jind News : पूर्व केंद्रीय मंत्री ने बीरेंद्र सिंह पर साधा निशाना

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Jind News : पूर्व केंद्रीय मंत्री ने बीरेंद्र सिंह पर साधा निशाना
पत्रकारों से बातचीत करते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह।
  • हरियाणा विधानसभा के उपाध्यक्ष को बोलने से पहले सोचना चाहिए : बीरेंद्र सिंह
  • कांग्रेस का संगठन मजबूत होता तो भाजपा बीस से नीचे रहती हरियाणा में

(Jind News) जींद। पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं कांग्रेस वरिष्ठ नेता बीरेंद्र सिंह ने हरियाणा विधानसभा के उपाध्यक्ष डा. कृष्ण मिड्ढा द्वारा कांग्रेस के मोक्ष की प्रार्थना करने पर कहा कि डा. मिड्ढा को कुछ भी बोलने से पहले सोचना चाहिए। उन्होंने कहा कि मिड्ढा को सूत आ रही है लेकिन इसका अर्थ यह नही है कि वह कांग्रेस जैसे बड़े संगठन के बारे में कुछ भी बोलें।

हरियाणा के मुख्यमंत्री कार्यालय में भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि जब सीएमओ पर ही भ्रष्टाचार के आरोप लगने लगे तो इसका अर्थ यह है कि पूरे प्रदेश में कुछ भी सही नही है। अब कांग्रेस एक महा अभियान चलाएगी। जिस संविधान मजबूत हो और भ्रष्टाचार के लिए कोई स्थान न बचे। उन्होंने पार्टी द्वारा हरियाणा में निकाय चुनाव सिंबल पर लडऩे का स्वागत करते हुए कहा कि इससे पार्टी को और मजबूती मिलेगी।

बीरेंद्र सिंह रविदास धर्मशाला में रविदास जयंती पर पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे

पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं कांग्रेस वरिष्ठ नेता बीरेंद्र सिंह वीरवार को रविदास धर्मशाला में रविदास जयंती पर मुख्यअतिथि के रूप में शिरकत करने के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे। इस अवसर पर पूर्व केंद्रीय मंत्री के साथ हरियाणा लोक सेवा आयोग के पूर्व सदस्य जय भगवान गोयल,  रविदास धर्मशाला के प्रधान राजेश पहलवान मौजूद थे। बीरेंद्र सिंह ने कहा कि अगर हरियाणा में कांग्रेस का संगठन मजबूत होता तो भाजपा की 20 सीटें भी नही आती।

अब कांग्रेस लोकतंत्र को मजबूत करने के लिए महा अभियान चलाने की तैयारी कर रही है और संगठन को मजबूत कर रही है। हरियाणा के मंत्री अनिल विज द्वारा दिए गए बयान की अधिकारी उनकी सुनवाई नहीं करते और उसके बाद प्रदेश भाजपा द्वारा उन्हें कारण बताओं नोटिस जारी करने के मामले में बोलते हुए पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वर्तमान सरकार में केवल एक ही व्यक्ति है जो सच बोलता है।

बीरेंद्र सिंह ने कहा कि मणिपुर में पिछले काफी समय से अव्यवस्था का आलम था और वहां कुछ भी ठीक नहीं चल रहा था। बात सरकार से बाहर की हो गई थी। मुख्यमंत्री का इस्तीफा दिला कर वहां कि विधानसभा को निरस्त कर दिया गया। विधानसभा को निरस्त करना सही नही है।

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