- नेशनल हेल्थ मिशन के सर्विस बाय लॉज 2018 के लाभ फ्रिज किए जाने पर सीएचओ ने जताया रोष
(Jind News) जींद। नेशनल हेल्थ मिशन के सर्विस बाय लॉज 2018 के लाभ फ्रिज किए जाने पर एनएचएम तहत कार्यरत सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारियों (सीएचओ) ने रोष जताया है। इसी रोष के तहत जिला में तैनात 96 सीएचओ ने मांगों को लेकर कार्यवाहक सीएमओ डा. पालेराम से मंगलवार को मुलाकात की और मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा। कर्मियों ने चेताया कि इस फैसले से उन्हें कोई वित्तीय नुकसान होता है तो वे आंदोलन व अदालत का रास्ता लेंगे।
सीएचओ डॉ. मोहन, डॉ. विक्रम यादव, डॉ. दीपक, डॉ. सपना, डॉ. प्रीति, डॉ. अंकित, हिना, जितेंद्र ने बताया कि उनकी भर्ती बायलॉज के तहत की गई थी और साथ में सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारियों से बॉड भी भरवाया गया था। अब सरकार इनके साथ सौतेला व्यवहार कर रही है। मिशन निदेशक एनएचएम के सर्विस बाय लॉज 2018 के लाभ 27 जून 2024 के बाद फ्रिज कर दिए गए हैं।
पत्र के बाद उनका जुलाई में लगा हुए इंक्रीमेंट भी रोक लिया गया
इस निर्णय के बाद जिले में कार्यरत सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारियों यानि सीएचओ में अपने वित्तीय नुकसान का डर बना हुआ है। इस पत्र के बाद उनका जुलाई में लगा हुए इंक्रीमेंट भी रोक लिया गया है। जिससे सीएचओ में काफी रोष है। उन्होंने कहा कि एनएचएम की ओर से 20 मार्च 2022 को जारी विज्ञापन में स्पष्ट किया गया है कि सीएचओ को एनएचएम सर्विस बायलॉज 2018 के अनुसार ग्रेड पे आधारित सभी वित्तीय लाभ मिलते रहेंगे।
भविष्य के लाभ को मद्देनजर रखकर ही उन्होंने सीएचओ पद के लिए आवेदन किया था। यह सभी लाभ और शर्तें उनकी श्योरिटी बॉड में भी वर्णित है। अगर एनएचएम और सरकार की ओर से सर्विस बाय लॉज 2018 में कोई बदलाव या निरस्त किए जाते हैं और उन्हें कोई वित्तीय नुकसान होता है तो इसे सहन नही किया जाएगा। कार्यवाहक सीएमओ डा. पालेराम कटारिया ने आश्वासन दिया कि उनकी मांगों को उच्च अधिकारियों तक पहुंचा दिया जाएगा।
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