- जनवरी- 2022 यूएस-कनाडा सीमा पार करते मृत पाया गया था परिवार
Human Trafficking Case, (आज समाज), अहमदाबाद: प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कनाडा-अमेरिका सीमा पर मानव तस्करी से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में महाराष्ट्र और गुजरात में आठ जगह छापेमारी कर दस्तावेज, डिजिटल डिवाइस और कैश बरामद किया है। साजिश में कनाडाई कॉलेजों और भारतीय संस्थाओं की कथित संलिप्तता का आरोप है। गौरतलब है कि 19 जनवरी, 2022 को गुजरात के डिंगुचा गांव का 4 सदस्यीय भारतीय परिवार कनाडा-अमेरिका सीमा पर मृत पाया गया था।
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10 और 19 दिसंबर को चलाया तलाशी अभियान
ईडी ने गुजरात के अहमदाबाद शहर की अपराध शाखा की डीसीबी द्वारा भावेश अशोकभाई पटेल और अन्य (डिंगुचा मामला) के खिलाफ दर्ज एफआईआर के आधार पर की जांच के तहत इसी महीने की 10 और 19 दिसंबर को मुंबई, नागपुर, गांधीनगर और वडोदरा में 8 जगह तलाशी अभियान चलाया। इसके बाद बीते कल यानी मंगलवार को ईडी के सूत्रों ने बताया कि पीड़ितों/व्यक्तियों को अवैध चैनलों के माध्यम से कनाडा के जरिये यूएसए भेजने की सुनियोजित साजिश रचने के लिए यह मामला चल रहा है।
19 लाख रुपए के बैंक खाते फ्रीज
ईडी सूत्रों के अनुसार तलाशी अभियान के दौरान, 19 लाख रुपए (लगभग) के बैंक खाते फ्रीज कर दिए गए। इसके अलावा कई अन्य आपत्तिजनक दस्तावेज और डिजिटल डिवाइस जब्त किए गए। दो वाहन भी जब्त किए गए। सभी आरोपियों ने एक-दूसरे के साथ साजिश रचते हुए निर्दोष भारतीय नागरिकों को कनाडा के रास्ते अवैध रूप से अमेरिका में प्रवेश कराने के लिए प्रति व्यक्ति 55 से 60 लाख रुपए की भारी रकम वसूल कर लालच दिया।
ईडी की जांच में पता चला कि भारतीय नागरिकों को अवैध रूप से अमेरिका भेजने के लिए आरोपियों ने कनाडा स्थित कॉलेजों/विश्वविद्यालयों में व्यक्तियों के प्रवेश की व्यवस्था की और इस तरह कनाडा के लिए छात्र वीजा के लिए आवेदन किया। एक बार जब व्यक्ति/छात्र कनाडा पहुंच गए, तो कॉलेज में शामिल होने के बजाय, उन्होंने अवैध रूप से यूएस-कनाडा सीमा पार कर ली और कनाडा में कभी कॉलेज में शामिल नहीं हुए। यह पाया गया है कि मुंबई और नागपुर स्थित दो संस्थाओं ने कमीशन के आधार पर विदेशों में स्थित विश्वविद्यालयों में छात्रों के प्रवेश के लिए एक संस्था के साथ समझौता किया है, जिससे एक इच्छुक छात्र ने अवैध रूप से अमेरिका में प्रवास करने के लिए संपर्क किया था।
हजारों छात्रों को हर साल कॉलेजों में भेजा जा रहा बाहर
तलाशी के दौरान यह पता चला है कि एक संस्था द्वारा लगभग 25,000 छात्रों और दूसरी संस्था द्वारा 10,000 से अधिक छात्रों को हर साल भारत के बाहर स्थित विभिन्न कॉलेजों में भेजा जा रहा है। यह भी पता चला है कि गुजरात में लगभग 1700 एजेंट/भागीदार और पूरे भारत में अन्य संस्थाओं के लगभग 3500 एजेंट/भागीदार हैं। इनमें से लगभग 800 सक्रिय हैं। जांच में यह भी सामने आया है कि कनाडा स्थित लगभग 112 कॉलेजों ने एक संस्था के साथ और 150 से अधिक ने दूसरी संस्था के साथ समझौते किए हैं। ताजा मामले में उनकी संलिप्तता की जांच की जा रही है।
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