अमित वालिया, लोहारू:
बरसात के बाद ठंड से बचने के लिए अंगीठी का सहारा ले रहे लोग
Heater in a Closed Room Fatal: दिसंबर माह के अंतिम दिनों में हल्की बूंदाबांदी व बरसात के बाद ठंड ने भी जोर पकड़ लिया है। ऐसे में ठंड से बचाव के लिए लोग गर्म वस्त्रों का सहारा लेने लगे है। वहीं सुबह व शाम के समय ठंड से बचाव के लिए अलाव का सहारा भी लिया जा रहा है। ऐसे में सर्दियों के दिनों में बंद कमरों के अंदर कोयले वाली अंगीठियां, स्टॉप व हीटर आदि का प्रयोग हादसे का सबब बन सकता है।
वेंटिलेशन की व्यवस्था जरूरी Heater in a Closed Room Fatal
चिकित्सकों की माने तो बंद कमरे में कोयले की अंगीठियां या हीटर के प्रयोग के समय यह अवश्य सुनिश्चित कर ले कि कमरे में वेंटिलेशन की पूरी व्यवस्था है। यदि वेंटिलेशन की व्यवस्था नहीं है तो अंगीठी या हीटर का प्रयोग रूम में सोने वाले के लिए जानलेवा भी हो सकता है।
इसी प्रकार ऐसे बाथरूम, जहां वेंटिलेशन की अच्छी व्यवस्था नहीं हो और गैस गीजर से पानी गर्म किया जाता हो, वहां भी ऐसी दिक्कत होने की आशंका ज्यादा रहती है। पानी गर्म करने के दौरान निकलने वाली कार्बन मोनो आॅक्साइड दम घोंट सकती है और इससे अटैक भी हो सकता है। वहीं अधिक प्रयोग हैड इंजरी लंग्स में पानी भरने की आशंका, ब्रेन हेमरेज, ब्रेन पैरालाइज जैसी बीमारियों का भय बना रहता है।
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संसाधन के प्रयोग के समय सावधानी जरूरी Heater in a Closed Room Fatal
नगर के उप नागरिक अस्पताल के चिकित्सक डा. गौरव चतुवेर्दी की मानें तो सुविधा के लिए लोग ऐसे संसाधन लगा लेते हैं, लेकिन उसके बारे में पूरी जानकारी लेना जरूरी नहीं समझते। यह पता होना चाहिए कि उस संसाधन के प्रयोग के दौरान हमे क्या सावधानी बरतनी है।
अंगीठी, हीटर व गैस गीजर के प्रयोग से उत्पन्न होने वाली गैस मीठे जहर की तरह होती है। इससे हल्का-हल्का नशा होता है। इसके प्रयोग के दौरान कई बार पता नहीं चल पाता कि वह धीरे-धीरे होश खो रहा है। यदि सर्दी से राहत दिलवाने वाले यंत्रों का प्रयोग बंद जगह पर किया जाए तो इसके परिणाम काफी घातक हो सकते हैं। इससे होने वाले खतरे में सबसे ज्यादा ब्रेन की बीमारियां शामिल हैं।