नई दिल्ली। पूर्व वित्तमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ ने पी. चिदंबरम अपनी जमानत के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटा चुके हैं। बता दें कि कल दिल्ली की एक अदालत ने उनकी जमानत याचिका खारिज कर उन्हें 17 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में ही रहने का आदेश दिया है। अब उच्चतम न्यायालय ने पी. चिदंबरम की याचिका पर सुनवाई करते हुए शुक्रवार को सीबीआई को नोटिस जारी कर उसे आईएनएक्स मीडिया भ्रष्टाचार मामले में पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम की जमानत याचिका पर जवाब देने को कहा। न्यायमूर्ति आर भानुमति और न्यायमूर्ति ऋषिकेश रॉय की पीठ ने सीबीआई की ओर से पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता से अपना जवाब दायर करने को कहा और मामले में आगे की सुनवाई के लिए 15 अक्टूबर की तिथि तय की। इस समय चिदंबरम तिहाड़ जेल में बंद हैं और उनकी जमानत याचिका को दिल्ली उच्च न्यायालय ने 30 सितंबर को खारिज किया था। अदालत के इस फैसले को चुनौती देने के लिए चिदंबरम ने शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाया है। चिदंबरम 21 अगस्त को अपनी गिरफ्तारी के बाद से कभी सीबीआई हिरासत तो कभी न्यायिक हिरासत में 43 दिन बिता चुके हैं। सीबीआई ने 2007 में बतौर वित्त मंत्री चिदंबरम के कार्यकाल के दौरान आईएनएक्स मीडिया समूह को विदेशी निवेश संवर्द्धन बोर्ड द्वारा 305 करोड़ रुपए के निवेश की मंजूरी दिये जाने में कथित अनियमितताओं को लेकर 15 मई, 2017 को एक प्राथमिकी दर्ज की थी।