Gurugram News : सैनिकों के लिए आध्यात्मिक बल भी जरूरी : के.एम. यादव

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Spiritual strength is also necessary for soldiers: K.M. Yadav
बोहड़ा कलां स्थित सुरक्षा सेवा प्रभाग कार्यक्रम में बोलते हुए सीआरपीएफ के महानिरीक्षक के.एम. यादव।
  • भारतीय सेना एवं सुरक्षा बलों के लिए आयोजित तीन दिवसीय सेल्फ एम्पावरमेंट कार्यक्रम का समापन
  • अधिकारियों एवं जवानों सहित 500 से भी अधिक लोग हुए शामिल

(Gurugram News) गुरुग्राम। सीआरपीएफ के महानिरीक्षक के.एम. यादव ने कहा कि ब्रह्माकुमारीज संस्था देश के सैनिकों का मनोबल बढ़ाने का सराहनीय कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि आज जिन परिस्थितियों से सैनिक जूझ रहे हैं, उसमें आध्यात्मिक बल बहुत जरूरी है। वे यहां बोहड़ा कलां स्थित ओम शांति रिट्रीट सेंटर में भारतीय सुरक्षा बलों के लिए आयोजित सेल्फ एंपावरमेंट विषय पर तीन दिवसीय डायलॉग कार्यक्रम में बोल रहे थे।

चिंता भी वास्तव में एक सोच

कार्यक्रम में सुप्रसिद्ध प्रेरक वक्ता बीके शिवानी ने कहा कि शरीर के साथ-साथ मन की एक्सरसाइज बहुत जरूरी है। मन की एक्सरसाइज न होने के कारण मन दूसरों के व्यवहार से जल्दी प्रभावित होता है। उन्होंने कहा कि अपने मन के विचारों के निमार्ता हम स्वयं हैं। चिंता भी वास्तव में एक सोच है। सोच हमारी खुद की ही च्वाइस है। एक शक्तिशाली मन ही चिंता मुक्त हो सकता है। कमजोर मन छोटी सी बात से भी घबरा जाता है। डर और भय मनुष्य आत्मा के सबसे बड़े शत्रु हैं। जो मन में विचारों की गति को बढ़ा देते हैं।

विपरीत परिस्थितियों में दुआएं ही बन जाती हैं ताकत

बीके शिवानी ने कहा कि हमें सभी के लिए अच्छा सोचना है। क्योंकि जो हम दूसरों को देते हैं वही लौटकर आता है। कोई भी बात हमें दुखी नहीं कर सकती। लेकिन किसी की कही हुई बात को बार-बार सोचने के कारण मन कमजोर हो जाता है। दुआएं सबसे बड़ी सुरक्षा हैं। विपरीत परिस्थितियों में दुआएं ही ताकत बन जाती हैं। सीजीडीए देविका रघुवंशी ने कहा कि वो ६ वर्षों से राजयोग का अभ्यास कर रही हैं। उन्होंने कहा कि योग से उनके जीवन में एक महान परिवर्तन आया। उन्होंने कहा कि योग हमारे व्यवहार को बहुत सरल और सहज बनाता है। योग हमें देने की भावना सिखाता है।

इस अवसर पर ओआरसी की निदेशिका आशा दीदी ने अपने आशीर्वचन से सभी को प्रेरित किया। उन्होंने कहा कि सैनिक जब सीमाओं पर होते हैं, तब ही हम चैन से सो सकते हैं। कठिनाइयां हमारी शक्ति को बढ़ाने के लिए आती हैं। उन्होंने कहा कि परमात्मा से योग लगाना बहुत सहज है। उसके लिए सिर्फ दिल की सच्चाई और सफाई की जरूरत है। राजयोगिनी शुक्ला दीदी ने भी अपने प्रेरणादाई वक्तव्य से सबको संबोधित किया।

तीन दिवसीय कार्यक्रम में सुरक्षा बलों के अधिकारियों और जवानों को राजयोग की बारीकियां बताई गई। संस्था के अनुभवी वक्ताओं द्वारा ईश्वरीय ज्ञान के गुह्य रहस्यों को स्पष्ट किया गया। सभी ने सुरक्षा बलों के समक्ष आने वाली चुनौतियों के बारे में चर्चा की। बीके सारिका ने मंच संचालन किया। अधिकारियों और जवानों सहित ५०० से भी अधिक लोग कार्यक्रम में शामिल हुए।

 

 

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