Gurugram News : सावित्रीबाई फुले ने जीवनभर सामाजिक बुराइयों के विरुद्ध संघर्ष किया: विजय परमार

0
140
Savitribai Phule fought against social evils throughout her life Vijay Parmar
Savitribai Phule fought against social evils throughout her life Vijay Parmar
  • माता सावित्रीबाई फुले ने पुणे में बेसहारा बच्चों के लिए एक अनाथालय भी खोला

(Gurugram News) गुरुग्राम। माता सावित्रीबाई फुले ने जीवनभर सामाजिक बुराइयों के विरुद्ध संघर्ष किया। महिला अधिकारों की सदा वकालत की। महिला शिक्षा का वे सबसे बड़ा उदाहरण हैं। आज वे देश की पहली महिला शिक्षिका के रूप में जानी जाती हैं। यह बात भाजपा किसान मोर्चा के जिला महामंत्री एवं गुरुग्राम नगर निगम के वार्ड-32 से भावी पार्षद उम्मीदवार विजय परमार ने शुक्रवार को माता सावित्रीबाई फुले की जयंती पर उन्हें नमन करते हुए कही।
विजय परमार ने कहा कि माता सावित्रीबाई फुले ने ज्योतिबा फुले के साथ मिलकर पुणे में बेसहारा बच्चों के लिए एक अनाथालय भी स्थापित किया।

फुले दंपत्ति कई आंदोलनों में शामिल थे, जिनमें से एक सती प्रथा के खिलाफ था। सावित्रीबाई विधवा होने पर महिलाओं के मुंडन के खिलाफ मुखर थीं। विजय परमार ने कहा कि महिला शिक्षा और महिला अधिकारों के लिए उन्होंने जो लड़ाई लड़ी, आज भी उनकी सोच को आगे बढ़ाया जाता है। माता सावित्रीबाई कहती थीं कि महिलाएं सिर्फ रसोई और खेतों में काम करने के लिए नहीं बनी हैं, वे पुरुषों से बेहतर काम कर सकती हैं।

उन्होंने महिलाओं को आगे बढ़ाने में कोई कसर नहीं छोड़ी। उनका पूरा जीवन समाज के लिए संघर्ष करते हुए बीता। 1890 में सावित्रीबाई के पति ज्योतिराव का निधन हो गया। यहां भी उन्होंने सामाजिक नियमों को किनारे कर पति की चिता को अग्नि दी। सेवाभाव तो सावित्रीबाई की रगों में भरा था। 1897 में जब पूरे महाराष्ट्र में प्लेग फैला था, तब भी वह लोगों की मदद में लगी थीं। 10 मार्च 1897 को प्लेग से पीडि़त बच्चों की देखभाल करते समय वे इस बीमारी की चपेट में आ गईं और उनका निधन हो गया। आज भी उनके विचार और सोच अमर हैं।

Gurugram News : सीटीएम ने समाधान शिविर में 10 शिकायतों का किया निपटारा