नई दिल्ली। डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को कोर्ट से राहत नहीं मिली। रेप मामले में आरोपी गुरमीत राम रहीम की पेरोल याचिका खारिज हो गई। पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में गुरमीत राम रहीम की रिहाई के लिए यह याचिका पत्नी द्वारा दायर की गई थी। गौरतलब है कि पहले पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट के जज ने राम रहीम की मुहबोली बेटी हनीप्रीत की जमानत याचिका पर सुनवाई करने से इनकार कर दिया था। डेरा प्रमुख की सजा के बाद 25 अगस्त 2017 में हरियाणा के पंचकुला में हुई हिंसा के मामले में जेल में है। अब इस मामले को मुख्य न्यायाधीश के समक्ष रखा जाएगा ताकि मामले को अन्य पीठ को सौंपा जा सकें। उनके (हनीप्रीत) वकील ने कहा कि हिंसा में उनकी कोई भूमिका नहीं थी और बाद में उनका नाम एफआरआई में दर्ज हुआ। गुरमीत राम रहीम को दो महिलाओं संग दुष्कर्म के चलते अगस्त 2017 में 20 साल की जेल की सजा सुनाई गई थी। जनवरी में एक विशेष सीबीआई अदालत ने भी गुरमीत राम रहीम सहित तीन और लोगों को 16 साल पहले एक पत्रकार की हत्या के लिए आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी।