प्रभजीत सिंह लक्की, यमुनानगर :
भारत की कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) व भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी जिला यमुनानगर ने प्यारेलाल तंवर व हरभजन सिंह संधू की अध्यक्षता में बसतडा टोल करनाल कांड के विरोध में उपायुक्त कार्यालय के सामने प्रदर्शन करके मुख्यमंत्री हरियाणा सरकार का पुतला फूंका और उपायुक्त के माध्यम से हरियाणा के राज्यपाल को ज्ञापन भेजा। ज्ञापन में मांग की गई कि बसताड़ा टोल प्लाजा पर निर्मम लाठीचार्ज करवाने वाले ड्यूटी मैजिस्ट्रेट आयुष सिन्हा को बर्खास्त किया जाए व उन पर धारा 302, 120 बी के तहत मुकदमा दर्ज करके कारवाई की जाए ।सुशील काजल जिनकी लाठियो की चोट से मृत्यु हो चुकी है उनके परिवार को 25 लाख रुपए मुआवजा दिया जाए और एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाए। सभी घायल किसानों का फ्री इलाज किया जाए ।
प्रदर्शनकारियों को संबोधित करते हुए वामपंथी नेताओं ने बसताड़ा टोल प्लाजा पर निर्मम लाठीचार्ज करवाने वाले ड्यूटी मैजिस्ट्रेट आयुष सिन्हाा को बर्खास्त करने की मांग करते हुए कहा कि पिछले 9 महीनों से तीन काले कानूनों और न्यूनतम समर्थन मूल्य की कानूनी गारंटी की मांगों को लेकर चल रहे किसान आंदोलन के दौरान हरियाणा में भाजपा जज्पा सत्ताधारी गठबंधन के नेताओं के सामाजिक बहिष्कार का आह्वान किया हुआ है जिसके तहत शांतिपूर्ण तरीके से काले झंडे दिखाने के कार्यक्रम होते रहे हैं ।ऐसा करते हुए 28 अगस्त को करनाल के बसताड़ा टोल प्लाजा पर किसान मुख्यमंत्री को काले झंडे दिखाने के लिए इकट्ठे हुए थे। उनपर जो भीषण लाठीचार्ज किया वह कोई साधारण पुलिस कार्रवाई नहीं है। यह जलिया वाले बाग जैसा कांड हैं जिसको बर्दाश्त नहीं किया जा सकता । बिना किसी हिंसक उकसावे के निर्मम ढंग से इतने लोगों को गंभीर चोटें मारे जाने के पीछे जो सोची समझी साजिश थी वह इस मामले के ड्यूटी मजिस्ट्रेट आयुष सिन्हा के कुछ वीडियो के वायरल होने से सामने आ चुकी है। यह आईएएस अधिकारी पुलिस को सरेआम आदेश देते सुना व देखा जा सकता है कि प्रदर्शनकारियों के सिर फोड़ने हैं। परिणाम सामने है कि अंधाधुंध ढंग से मारी गई लाठियों से अनेक किसानों को गंभीर चोटें आई हैं। कई लोगों की आंख और कानों पर गहरे जख्म है और फ्रैक्चर भी आए हैं इस प्रकार के गैरकानूनी और निहायत गैर जिम्मेदाराना आदेश देने वाले किसी उच्च अधिकारी को किसी भी कार्यकारी पद पर रखा जाना किसी भी दृष्टि से सविकार्य नहीं हो सकता। आप अपने देश के नागरिकों से दुश्मन जैसा व्यवहार नहीं कर सकते ।शनिवार की नृशंस घटना से देश व प्रदेश के लोगों में गहरा विक्षोभ है ।वामपंथी पार्टियां पुरजोर मांग करती हैं इस पक्ष की न्यायिक जांच हो कि राजनीतिक स्तर पर किस ने ऐसा करने को कहा था। प्रदर्शनकारियों को धर्मपाल सिंह चौहान, जरनैल सिंह सांगवान, मानसिंह मंडेबर, विजयपाल, अजमेर सिंह संधू, रामकरण शर्मा, डाक्टर करण सिंह, राम कुमार कंबोज, सोमनाथ, लाल चंद कंबोज, विपिन बराड, फकीर चन्द व अन्य ने भी संबोधित किया।
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