रोहतक: महम के पूर्व इनेलो विधायक बाली पहलवान कोर्ट में पेश, 30 को पूरी बहस

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संजीव कुमार, रोहतक:
कलानौर की अनाज मंडी में करीब 10 साल पहले हुए निगाना के विष्णु हत्याकांड में नामजद महम के पूर्व विधायक बाली पहलवान शुक्रवार को अदालत में पेश हुए। कोर्ट में दोनों पक्षों के बीच 14 आरोपियों को पुलिस द्वारा क्लीन चिट देने के मामले में बहस हुई। बहस में दोनों पक्षों ने अपने-अपने तर्क दिए। अब मामले में आगे की बहस के लिए 30 जुलाई की तिथि तय की गई है।
बचाव पक्ष के वकील ओमप्रकाश चुघ ने बताया कि 2011 में बसाना गांव के पूर्व सरपंच सीताराम राठी ने कलानौर थाने में शिकायत दी थी कि महम के पूर्व विधायक बाली पहलवान कलानौर की अनाज मंडी में आए। अनाज मंडी में पूर्व सरपंच की आढ़त की दुकान है। वहां पर गोशाला के नाम पर अनाज लेने को लेकर विवाद हो गया। इस दौरान गोली लगने से पूर्व सरपंच के साले निगाना गांव निवासी विष्णु की मौत हो गई। कलानौर पुलिस ने पूर्व विधायक बाली पहलवान सहित 30 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया था। मामले की जांच के दौरान पुलिस ने 14 आरोपियों के क्लीन चिट दे दी। जब मामला एडीजे कोर्ट में पहुंचा तो पीड़ित पक्ष की तरफ से पूर्व सरपंच सीताराम राठी ने सीआरपीसी की धारा 319 के तहत याचिका दायर की कि मामले में जिन आरोपियों को पुलिस ने क्लीन चिट दी है, उनको कोर्ट में बुलाया जाए। एडीजे कोर्ट ने याचिका मंजूर कर ली, इसके खिलाफ पूर्व विधायक ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया। हाईकोर्ट ने एडीजे कोर्ट का फैसला निरस्त कर दिया। पूर्व सरपंच ने सुप्रीम कोर्ट में हाईकोर्ट के फैसले के चुनौती दी। सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ता को वापस हाईकोर्ट में जाने की सलाह दी। हाईकोर्ट ने पूर्व सरपंच की अर्जी पर जिला अदालत को मामले में दोबारा सुनवाई के निर्देश दिए।

दो साल से लंबित याचिका, अदालत ने शुरू की सुनवाई
कोरोना संक्रमण को देखते हुए हिदायत हैं कि अगर केस दो साल से ज्यादा पुराना है तो उसमें अर्जी पर बहस शुरू हो सकती है। इसी के चलते सीआरपीसी की धारा 319 के तहत शुक्रवार को बहस शुरू हुई। एडीजे राकेश सिंह की अदालत में दोनों पक्षों ने अपने-अपने तर्क दिए। अब मामले में आगे की बहस 30 जुलाई के होगी।

जमानत पर हैं पूर्व विधायक, पेशी के दिन ही जिले में आने की अनुमति

हत्या के मामले में नामजद महम के पूर्व विधायक बाली पहलवान को हाईकोर्ट ने सशर्त जमानत दे रखी है। नियमों के तहत बाली पहलवान को उसी दिन जिले में आने की अनुमति है, जिस दिन अदालत में पेशी होती है।