
Earthquake Hits Myanmar & Thailand, (आज समाज), नेपीडॉ/बैंकॉक: म्यांमार में जोरदार भूकंप के कारण अब तक 20 से ज्यादा लोगों के मारे जाने की सूचना है और कई लोग लापता बताए गए हैं। भूकंप का पड़ोसी देश भारत व थाइलैंड के अलावा चीन और बांग्लादेश तक असर रहा है। थाईलैंड में तो इमारतें धराशायी हो गई हैं और वहां भी मौतें हुई हैं। कई लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका जताई गई है।
10 किलोमीटर की गहराई पर था केंद्र
अमेरिकी भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण के अनुसार, भूकंप का केंद्र म्यांमार के मांडले के उत्तर-पश्चिम में 10 किलोमीटर की गहराई पर था। रिक्टर पैमाने पर इसकी तीव्रता 7.7 मापी गई है। भूकंप ने 1,000 किलोमीटर से अधिक दूर थाई राजधानी बैंकॉक में मौतें और क्षति पहुंचाई और व्यवसायों और सार्वजनिक परिवहन को बाधित किया।
म्यांमार में 20 लोगों की मौत
जानकारी के अनुसार म्यांमार में 20 लोगों की मौत और थाईलैंड गिरी 30 मंजिला इमारत में 3 लोगों की मौत हो गई है और 80 से ज्यादा लोगा लापता हैं। बचाव दल रेस्क्यू में जुटे हैं। यूएसजीएस ने शुरूआती झटके के 12 मिनट बाद 6.4 तीव्रता के झटके की सूचना दी।
म्यांमार सैन्य शासन का बयान
म्यांमार के सैन्य शासन ने कहा कि कुछ लोग मारे गए हैं और कई अन्य घायल हुए हैं और उन्हें अस्पताल ले जाया गया, लेकिन उन्होंने कोई विवरण नहीं दिया। इसने प्रभावित क्षेत्रों, विशेष रूप से सागाइंग क्षेत्र, मांडले क्षेत्र और राजधानी नेपीताव के अस्पतालों में रक्तदान के लिए तत्काल अपील जारी की। थाई मौसम विभाग ने कहा कि सुनामी का जोखिम कम था क्योंकि भूकंप जमीन पर आया था।
म्यांमार : आपातकाल की स्थिति घोषित
प्राकृतिक आपदा प्रबंधन समिति ने सागाइंग, मांडले, मैगवे, शान नॉर्थ-ईस्ट और म्यांमार की राजधानी नेपीडॉ और बागो में आपातकाल की स्थिति घोषित कर दी है। इसने लोगों को सुरक्षित क्षेत्रों में रहने की सलाह दी है क्योंकि मौसम विज्ञान और जल विज्ञान विभाग के विशेषज्ञों के अनुसार अगले छह घंटों तक भूकंप के झटके जारी रहने की उम्मीद है।
थाईलैंड : रक्षा मंत्री फुमथाम वेचायाचाई का बयान
थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक व अन्य जगहों पर गगनचुंबी इमारतें हिल गईं। श्रमिकों, इलाके के लोगों और पर्यटकों ने कार्यालय भवनों, होटलों, कोंडोमिनियम और दूतावासों को खाली कर दिया है। बैंकॉक में रक्षा मंत्री फुमथाम वेचायाचाई ने कहा कि बैंकॉक भूकंप के लिए विशेष रूप से संवेदनशील है क्योंकि यह शहर नरम मिट्टी पर बना है। उन्होंने बताया कि चतुचक जिले में एक अर्धनिर्मित 30-मंजिल स्टेट आॅडिट आॅफिस की इमारत ढह गई, जिसमें कम से कम तीन लोगों की मौत हो गई और 90 लोग फंस गए हैं।
विनाशकारी मानी जाती है 7 से अधिक की तीव्रता
म्यामांर में भारतीय समयानुसार 11:52 पर पहला जलजला आया और फिर 12 बजे के बाद दूसरा झटका लगा। दोनों बार तीव्रता रिक्टर स्केल पर 7 से अधिक थी, जो विनाशकारी माना जाता है। पहली बार में 7.2 की तीव्रता का भूकंप था, जबकि दूसरी बार में यह और तेज होते हुए 7.7 हो गया। इन झटकों ने पूरे म्यामांर को हिला डाला और पल भर में ऊंची इमारतें जमींदोज हो गईं।
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